Milk Price Increased: अभी कुछ ही दिन पहले मदर डेयरी ने चौथी बार दूध के दाम बढ़ा दिए. एक्सपर्ट्स का भी यही अनुमान था कि इससे दूसरी कंपनियां भी दूध की कीमतें बढ़ाने के लिए मजबूर होंगी, लेकिन अब दूध की दूसरी सबसे बड़ी उत्पादक नंदिनी ने भी दूध और दही की 9 वैरायटी के दाम बढ़ा दिए है. इस मामले में कर्नाटक दूध संग ने जानकारी दी कि स्पेशल दूध, शुभम, समृद्धि और संतृप्ति और दही समेत दूध की 9 वैरायटी की कीमतों में बढ़ोतरी की गई है.कर्नाटक दुग्ध संघ (केएमएफ) के प्रबंध निदेशक के मुताबिक, नंदिनी ब्रांड के दूध (प्रति लीटर) और दही (प्रति किलो) की कीमतों में 2 रुपये का इजाफा किया है. ये कीमतें गुरुवार से ही लागू हो चुकी है.


दूध-दही पर बढ़ाए 2 रुपये
कर्नाटक दूध संघ के प्रबंध निदेशक ने बताया कि अब से नंदिनी ब्रांड का डबल टोंड दूध 38 रुपये, टोंड दूध 39 रुपये, होमोजिनाइज्ड टोंड दूध 40 रुपये, होमोजिनाइज्ड गाय का दूध 44 रुपये, विशेष दूध 45 रुपये, शुभम दूध 45 रुपये, समृद्धि दूध 50 रुपये और संतृप्ति दूध का भाव 52 रुपये प्रति लीटर के भाव पर ही बिकेगा. वहीं नंदिनी ब्रांड के दही की भी बिक्री अब से 47 रुपये प्रति किलोग्राम के हिसाब से की जाएगी. वहीं कर्नाटक दूध संघ के मूल्य निर्धारण समायोजन की मानें तो अब से टोंड दूध का भाव 37 रुपये के बजाए 40 प्रति लीटर और दही 45 रुपये के बजाए 47 रुपये किलोग्राम कीमतों पर बिकेगा.


बाकी ब्रांड्स के मुकाबले कम थे दाम
जहां मदर डेयरी कंपनी ने दूध की कीमतों के पीछे पशुपालन में आने वाली लागत का हवाला दिया था. वहीं कुछ पहले कर्नाटक दूध संघ के चेयरपर्सन बालाचंद्र जरकीहोली ने भी बताया था कि दूध के दाम बढ़ाने के बावजूद नंदिनी ब्रांड का दूध गोवर्धन, हेरिटेज, आरोग्य और तिरुमाला जैसे अन्य ब्रांडों की तुलना में कम महंगा पड़ेगा. बता दें कि नंदनी ब्रांड का दूध देश के कई इलाकों में सप्लाई होता है. अब दाम बढ़ने के बाद गुजरात में इसकी कीमत 50 रुपये, आंध्र प्रदेश में 55 रुपये, तमिलनाडु में 40 रुपये, केरल में 46 रुपये, महाराष्ट्र में 51 रुपये और आंध्र प्रदेश में 55 रुपये लीटर हो जाएगी. 






कंपनियां क्यों बढ़ा रहीं दूध के दाम
जाहिर है कि देश-विदेश में दूध-डेयरी के प्रोडक्ट्स की मांग बढ़ती जा रही है. भारत को दूध-डेयरी का बड़ा उत्पादक और निर्यातक देश कहते हैं. इन दिनों लंपी रोग और पशु चारे की कमी के कारण पशुपालकों को भारी नुकसान हुआ है. एक तरह से देखा जाए तो दूध के बेहतर उत्पादन के लिए पशुओं को अच्छा आहार भी खिलाना पड़ता है, जो दूध की लागत में ही जुड़ता है. अब बढ़ती लागत के कारण दूध उत्पादक भी कम दाम पर दूध नहीं बेच पाते, मजबूरन कंपनियों को दाम बढ़ाने ही पड़ते है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो कुछ दिनों पहले ही ज्यादातर दूध कंपनियों ने दूध और इससे बने उत्पादों की कीमतें बढ़ाईं थी. इस दौड़ में मदर डेयरी कंपनी सबसे आगे रही, जिसने चौथी बार कीमतों में इजाफा किया.


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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