Vegetable Farming in November: इस समय किसानों ने खरीफ फसलों की कटाई का काम निपटा लिया है और रबी फसलों की बुवाई के लिए खेत की तैयारी चल रही है. इसी बीच पूसा संस्थान के विशेषज्ञों ने कृषि एडवाइजरी जारी की है, जिसमें सब्जियों की खेती के लिए सही समय और सही तापमान को ध्यान में रखते हुए उन्नत किस्मों के बुवाई करने की सलाह दी है. साथ ही, फूलों की खेती करने वाले किसानों को ग्राफ्टिंग करने की भी सलाह दी जा रही है.


लहसुन की बुवाई 
इस रबी सीजन में लहसुन की बुवाई करके अगले साल तक बेहतर प्रॉडक्शन ले सकते हैं. लहसुन से अच्छा मुनाफा कमाने के लिये जरूरी है कि लहसुन की पैदावार के साथ-साथ क्वालिटी पर जोर दिया जाये. इस काम में लहसुन की जी-1, जी-41, जी-50, जी-282 किस्मों का चुनाव करें. साथ ही, कृषि विशेषज्ञ ने बुवाई से पहले मिट्टी में नमी कायम रखने की सलाह दी है. किसान चाहें तो मिट्टी की जांच के आधार पर देसी खाद और फास्फोरस उर्वरक डालकर भी खेत तैयार कर सकते हैं.


गाजर की बुवाई 
अक्टूबर से लेकर नवंबर तक का समय गाजर की बुवाई के लिए सबसे उपयुक्त रहता है. इस समय खेतों में ऊंची क्यारियां या फिर मेड बनाकर गाजर की उन्नत किस्मों से बुवाई कर सकते हैं. गाजर की बुवाई के लिए मिट्टी में अच्छी नमी का होना जरूरी है, जिससे बीजों का सही जमाव हो सके.


किसान चाहें तो गाजर की पूजा रुधिरा के 4 किलोग्राम बीजों की एक खेत में या मेड़ों पर बुवाई कर सकते हैं. कृषि विशेषज्ञों ने बताया है कि मशीन से गाजर की बुवाई करने पर सिर्फ एक किलोग्राम बीजों की ही आवश्यकता होती है. बुवाई से पहले 2 ग्राम कैप्टन से प्रति किलोग्राम बीजों का उपचार करें और देसी खाद, पोटाश और फास्फोरस उर्वरकों को मिट्टी में मिलाकर खेत को तैयार करें.


पत्तेदार सब्जियों की बुवाई 
यह समय सरसों, पालक, शलगम, बथुआ, मेथी और धनिया की बुवाई के लिए सबसे अनुकूल है. इस समय इन पत्तेदार सब्जियों का तेजी से विकास होता है और करीब 30 से 45 दिन के अंदर फसल पककर तैयार हो जाती है. पत्तेदार सब्जियों की खासियत ये है कि सिर्फ एक बार बुवाई करने के बाद 3 से 4 बार कटाई करके प्रॉडक्शन ले सकते हैं.


सरसों साग के लिए पूसा साग-1, मूली के लिए जापानी व्हाईट, हिल क्वीन, पूसा मृदुला (फ्रेच मूली), पालक के लिए आल ग्रीन,पूसा भारती, शलगम के लिए पूसा स्वेती या स्थानीय लाल किस्म, बथुआ के लिए पूसा बथुआ-1,  मेथी के लिए पूसा कसुरी, गांठ गोभी के लिए व्हाईट वियना, पर्पल वियना और धनिया की बुवाई के एलिए पंत हरितमा या संकर किस्मों का चुनाव कर सकते हैं.


ब्रोकली और फूलगोभी की खेती 
अक्टूबर से लेकर नवंबर तक का समय ब्रोकली फूल गोभी और बंद गोभी की नर्सरी तैयार करने के लिए सबसे अच्छा मानते हैं. नर्सरी में जमीन से ऊंची क्यारिया बनायें. अब इन क्यारियों में उन्नत किस्म के बीजों से बुवाई करें. किसान चाहें तो क्यारियों के ऊपर धान की पराली से जैविक मल्चिंग भी बिछा सकते हैं. इस तरह मिट्टी में नमी बनी रहेगी और फसल के पौधे भी जल्दी तैयार हो जाएंगे.


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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