Post-Harvest Management: भारत में फसल की कटाई के बाद उनका भंडारण और प्रबंधन एक बड़ा चुनौतीपूर्ण काम है. कई बार तो फसलें कटाई के बाद खेतों में पड़े-पड़े बर्बाद हो जाती है. इस समस्या का हल निकालने के लिये सरकार लगातार कृषि भंडारण, ट्रांसपोर्टेशन और मैनेजमेंट पर काम कर रही है. कई ऐसी योजनायें (Agriculture Scheme) चलाई जा रही है, जिनकी मदद से किसान अब आर्थिक अनुदान लेकर खुद कोल्ड स्टोरेज खोल सकते हैं. बिहार राज्य सरकार भी एकीकृत बागवानी विकास मिशन के तहत एक ऐसी ही योजना पर काम कर रही है, जिसके तहत टाइप-2 कोल्ड स्टोरेज यूनिट (Cold Storage Unit) के लिये किसान से लेकर किसान उत्पादक संगठनों को 75% तक सब्सिडी मिल रही है.


कोल्ड स्टोरेज यूनिट पर सब्सिडी
बिहार कृषि विभाग-बागवानी निदेशालय ने राज्य के किसानों को एकीकृत बागवानी विकास मिशन (MIDH) के तहत टाइप-2 की कोल्ड स्टोरेज यूनिट लगाने के लिये आर्थिक अनुदान देने का फैसला किया है. इसके लिये सरकार ने अधिकतम इकाई लागत 10,000 रुपये निर्धारित की है.



  • इसी इकाई लागत पर व्यक्तिगत निवेशकों, उद्यमियों और किसानों को 50 प्रतिशत तक सब्सिडी यानी अधिकतम 5,000 रुपये का अनुदान दिया जायेगा.

  • वहीं किसान उत्पादक संगठनों को इकाई लागत पर 75 प्रतिशत तक सब्सिडी और 7,500 रुपये के सहायतानुदान का प्रावधान है.






यहां करें आवेदन
एकीकृत बागवानी विकास मिशन के तहत बिहार में कोल्ड स्टोरेज यूनिट पर आर्थिक अनुदान के लिये आधिकारिक पोर्टल horticulture.bihar.gov.in पर जाकर विजिट कर सकते हैं. इस योजना से संबंधित अधिक जानकारी के लिये अपने नजदीकी जिले में उद्यान विभाग (Bihar Horticulture Department) के कार्यालय में जाकर सहायक निदेशक से संपर्क कर सकते हैं.


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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