'अब पहले की तरह बंजर नहीं रहे खेत'.....54 लाख महिलाओं को मिल रहा आर्थिक संबल, कैसे मिलता है इस योजना का लाभ, जानें
Mukhya Mantri Krishak Sathi Yojana: कृषि क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के लिए राजस्थान सरकार ने पिछले 4 साल में 54 लाख से अधिक महिलाओं को बीजों की नि:शुल्क मिनी किट वितरित की हैं.
Free Seed Mini Kit: खेती-किसानी में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के लिए राजस्थान सरकार की ओर से कई प्रयास किए जा रहे हैं. पिछले 4 साल में राज्य की 54 लाख 30, 781 महिला किसानों को बीजों की नि:शुल्क मिनी किट वितरित की गई है. इस स्कीम से महिलाओं को आर्थिक संबल तो मिला ही है, इससे बंजर पड़े खेतों को दोबारा हरा-भरा बनाने में भी मदद मिली है. राज्य सरकार के आंकड़े बताते हैं कि साल 2022-23 में करीब 26.07 लाख महिला किसानों को बीजों की मिनी किट वितरित की गई, जिसमें सरसों, बाजरा, मक्का, मसूर, अलसी और मोठ के बीज शामिल हैं. कैसे राजस्थान की दूसरी महिला किसानों को इस योजना का लाभ मिलेगा, जानें.
मुख्यमंत्री कृषक साथी योजना
राजस्थान की महिला किसानों को आर्थिक संबल प्रदान करने के लिए मुख्यमंत्री कृषक साथी योजना चलाई जा रही है. इस स्कीम के तहत राजस्थान मिलिट्स प्रोत्साहन मिशन और राजस्थान बीज उत्पादन और वितरण जैसे कार्यक्रम के जरिए ही महिलाओं को बीज वितरित किए गए है. इस स्कीम को लेकर कृषि आयुक्त कानाराम ने मीडिया रिपोर्ट्स के हवाले से बताया कि महिलाओं को दी जा रही बीजों की मिनी किट के जरिए फसल उत्पादन में अच्छे परिणाम सामने आ रहे हैं. राज्य सरकार ने खरीफ चारे के 59 हजार 882 मिनीकिट के साथ पशुपालकों को भी रिजका, बरसीम और जई के 60 हजार मिनी किट वितरण का लक्ष्य रखा है. इसके तहत 26 हजार 725 मिनीकिट वितरित की जा चुकी हैं.
इन फसलों के बीज मिले
साल 2022-23 में बीज वितरण की बात करें तो महिलाओं को सरसों की 2-3 किग्रा वाली 8 लाख 11 हजार 52 मिनी किट वितरित की गई है.बाजरा की 1.5 किलो ग्राम वाली 8 लाख 60 हजार 610 मिनीकिट, मक्का की 5 किलोग्राम वाली 7 लाख 95 हजार 774 मिनीकिट, मसूर की 8 किलोग्राम वाली 22 हजार 475 मिनीकिट, अलसी की 12 किलोग्राम वाली 4 हजार 144 मिनीकिट और मोठ की 4 किलोग्राम वाली 26,315 मिनीकिट वितरित की जा चुकी है.
इन महिलाओं को मिलता है लाभ
बता दें कि राजस्थान सरकार ने बीजों की निशुल्क मिनीकिट का विरण महिलाओं के जन आधार कार्ड से कृषि पर्यवेक्षकों के जरिए किया है. बीजों की मिनी किट वितरण स्कीम के जरिए राज्य की एससी-एसटी, जनजातीय और गरीबी रेखा से नीचे जीवनयापन करने वाले किसान परिवारों की महिलाओं को प्राथमिकता दी जाती है. अगर कृषि योग्य जमीन महिला के नाम ना होकर पिता, पति, ससुर के नाम से हो. तब भी महिलाओं को बीजों का एक पैकेट दिया जाता है. अधिक जानकारी के लिए नजदीकी कृषि कार्यालय में संपर्क कर सकते हैं या किसान कॉल सेंटर के नंबर 1800-180-1551 पर कॉल कर सकते हैं.
क्या कहती हैं महिलाएं
राजस्थान सरकार की एक रिपोर्ट में बीज की निशुल्क मिनी किट प्राप्त करने वाली महिलाओं की सफलता की कहानी भी शामिल है. कई महिलाओं का कहना है कि आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होती तो फसल के बीज भी नहीं खरीद पाते. ऐसे में कई बार खेती भी ठप पड़ जाती है, लेकिन अब राजस्थान सरकार की ओर से मिलने वाली बीजों की नि:शुल्क मिनी किट से खेत पहले की तरह बंजर नहीं रहते. इन बीजों से अच्छी गुणवत्ता की उपज मिल रही है और आर्थित संबल भी.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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