Agri Export: क्यों भारत से बासमती चावल और चाय नहीं खरीद रहा ईरान, इस वजह से बढ़ी व्यापारियों की टेंशन
Agri Export: ईरान ने अचानक भारत से बासमती चावल और चाय खरीदना बंद कर दिया है. वहां भारतीय चाय और भारतीय बासमती चावल की काफी मांह है, जिसके बावजूद निर्यात कम होने से व्यापारियों की चिंताएं बढ़ गई है.
Iran Agri Import: एंटी हिजाब मूमेंट नहीं, असल मामला तेल आयात का है. एक्सपर्ट्स की मानें तो अमेरिका की तरफ से ईरान पर प्रतिबंध लगाने के बाद भारत ने ईरान से तेल खरीदना बंद कर दिया है. ईरान चाहता है कि भारत तेल खरीदना जारी रखें. इस बात की अभी कोई पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन भारत की तरफ से ईरान को बासमती चावल का कम दाम पर उपलब्ध करवाया जाता है. वहीं भारतीय चाय की डिमांड भी ईरान में काफी ज्यादा है. इस सब के बावजूद अचानक से ईरान ने आयात में दिलचस्पी कम कर दी है. इससे भारतीय चाय व्यापारी और बासमती चावल निर्यातक काफी परेशान है. हैरान करने वाली बात ये है कि भारतीय खाद्य उत्पादों का ईरान में काफी बड़ा मार्केट है.
कम कीमतों के बावजूद रोका बासमती का आयात
बासमती चावल, चाय और तमाम भारतीय फलों के आयात को रोकने के पीछे कई कारण हो सकते हैं. इनमें से एक यह भी है भारत अब ईरान से कीवी और आडू नहीं खरीद रहा है. ट्रेड चैनल्स की मानें तो यह कृषि के आपसी आयात-निर्यात के आधार पर जवाबी कार्यवाही हो सकती है. एक्सपर्ट्स बताते हैं कि ईरान की तरफ से बासमती चावल का आयात रोकना सबसे आश्चर्यजनक कदम है, क्योंकि दूसरे देशों की तुलना में भारतीय चावल के दाम काफी कम हैं.
भारत ने बंद कर दिया कीवी का आयात
जानकारी के लिए बता दें कि भारत ने भी पिछले साल दिसंबर में ईरान से कीवी खरीदने और निर्यात पर रोक लगा दी थी, जिसके लिए भारत ने पेस्ट इंफेस्टेट कंसाइनमेंट का हवाला दिया था. इस मामले में इंडियन टी एसोसिएशन के सेक्रेटरी सुजीता पात्रा ने मीडिया को बताया कि हम काफी पहले से ईरान को बासमती चावल और चाय का निर्यात कर रहे हैं. वहां भारतीय चाय हमेशा ही डिमांड में रहती है, हालांकि यह मामला भारतीय दूतावास के साथ वाणिज्य मंत्रालय, चाय बोर्ड और डीजीएफटी और तेहरान में उठाया गया है. सरकार भी इसका असल कारण पता लगाने की कोशिश कर रही है. इस मामले की असल वजह पता चल जाए तो हल निकल सकता है. इस मामले में सरकार को भी ईरान से बात करनी होगी, ताकि व्यापार ठप पड़ने से पहले ही दोबारा निर्यात चालू किया जा सके.
भारतीय चाय-चावल का टॉप आयातक है ईरान
ईरान को भारतीय चाय और बासमती चावल के निर्यात से जुड़े आकंड़ों के अनुसार, अप्रैल से सितंबर तक ईरान ने करीब 641.66 मिलियन डॉलर का चावल आयात किया है, जो साल 2022 तक बढ़कर 855.72 मिलियन टन पहुंच गया है. एक्सपर्ट्स की मानें तो ईरान भारत से एक साल में करीब 30 से 35 मिलियन किलोग्राम चाय और 1.5 मिलियन किलोग्राम बासमती चावल खरीद रहा था, लेकिन अब ईरान के खरीददारों ने नए कांट्रेक्ट देना ही बंद कर दिया है.
क्या चाहता है ईरान
कई मीडिया रिपोर्ट्स से पता चला है कि इस मामले में वाणिज्य मंत्रालय, विदेश मंत्रालय और नई दिल्ली स्थित ईरान दूतावास को सवाल भेजे गए हैं, जिनका जवाब अभी तक नहीं मिला है, लेकिन इस तनाव की असल वजह को लेकर यही अनुमान है कि ईरान भारत के साथ तेल के व्यापार को दोबारा चालू करना चाहता है. बता दें कि कुछ समय पहले भारत ईरानी तेल का प्रमुख आयातक देश था, लेकिन प्रतिबंधों के कारण भारत ने ईरान से तेल खरीदना बंद कर दिया.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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