PM Kisan Scheme 13th Installment: प्रधानमंत्री सम्मान निधि की 13 वीं किस्त किसानों के खाते में नहीं पहुंची है. किसान किस्त का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. पात्र किसानों के खाते में हर हाल में किस्त पहुंच जाए. इसको लेकर केंद्र व राज्य सरकार प्रत्येक राज्य में ग्राउंड लेवल पर होमवर्क करने में जुटी हुई हैं. उत्तर प्रदेश में ई-केवाईसी कराने के लिए 31 जनवरी तक की गाइडलाईन तय की गई हैं. वहीं, अब एक और राज्य सरकार ने ई-केवाईसी कराने की डेडलाईन तय कर दी है. यदि उस तय समय के भीतर किसान ई-केवाईसी नहीं करा पाते हैं तो उन्हें 13 वीं किस्त नहीं मिल पाएगी. 


बिहार में 28 जनवरी तक करा लें ई-केवाईसी


ई-केवाईसी कराने के लिए बिहार सरकार किसानों को जागरुक कर रही है. बिहार कृषि मंत्रालय ने ट्वीट करते हुए किसानों को कहा है कि 28 जनवरी 2023 किसानों तक हर हाल में ई-केवाईसी करा लें. मंत्रालय ने स्पष्ट कहा है कि जो किसान 28 जनवरी तक ई-केवाईसी नहीं करा पाएंगे. उन्हें 13 वीं किस्त नहीं मिल पाएगी. कृषि विभाग ने इसको लेकर एक नोटिस भी जारी कर दिया है. 


16.74 लाख किसानों का नहीं हुआ ई-केवाईसी


कृषि मंत्रालय ने कहा है कि 13 वीं किस्त जारी करने से पहले ई-केवाईसी होना जरूरी है. राज्य में 16.74 लाख किसानों का ई-केवाईसी नहीं हुआ है. सभी लाभार्थियों को डीबीटी कृषि विभाग के माध्यम से मैसेज भी भेजा गया है. सभी किसान इस मैसेज को फालो करते हुए ई-केवाईसी और जरूरी अपडेशन करा लें. 


ऐसे कराएं ई-केवाईसी


लाभार्थियों को इसके लिए पीएम किसान पोर्टल के अधिकारिक पेज पर जाना होगा. इसके लिए ई-केवाईसी पर क्लिक करने पर जरूरी जानकारियां भर दें. ऑनलाइन ही मोबाइल नंबर लिंक आधार नंबर से कर सकते हैं. इसमें ओटीपी मिलेगा. ओटीपी को दर्ज करने और जरूरी विवरण भरते ही 
ई-केवाईसी पूरी हो जाएगी. इसके अलावा नजदीकी सीएससी और ऑनलाइन केंद्रों पर भी इसे पूर्ण किया जा सकता है. इसके लिए 15 रुपये ऑनलाइन शुल्क भरना होता है. 


दो करोड़ किसानों को नहीं मिली थी किस्त


प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 12 वीं किस्त 2 करोड़ से अधिक किसानों को नहीं मिली थी. दरअसल, केंद्र सरकार के पास शिकायतें मिल रही थीं कि काफी संख्या में फर्जी किसान पीएम किसान सम्मान निधि ले रहे हैं. केंद्र सरकार ने राज्य सरकार के सहयोग से अपात्रों की छंटनी का अभियान चलाया. 2 करोड़ से अधिक किसान लिस्ट से बाहर कर दिए गए. अभी भी केंद्र सरकार अपात्रों को बाहर करने का रास्ता दिखा रही है. केंद्र सरकार के अधिकारियों ने कहा है कि बिना ई-केवाईसी और भूलेख अपडेशन के 13 वीं किस्त नहीं मिलेगी. 



Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


यह भी पढ़ें:- गाय-भैंस ही क्यों? ऊंट का दूध भी औषधीय गुणों से भरपूर, ओवरऑल खर्च से कहीं ज्यादा है कमाई, ये हैं दूध के दाम