Crop Loan: कृषि कार्यों के लिए किसानों को पैसों की तंगी का सामना ना करना पड़े. इस उद्देश्य से केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर कई कृषि योजनाएं चला रही हैं.इस कड़ी में राजस्थान सरकार भी आगे  आई है. राज्य सरकार ने 25 नवंबर तक 26.92 लाख किसानों को बिना ब्याज के 12 हजार 811 करोड़ का लोन दिया है. इस साल 1.29 लाख नए किसान भी स्कीम से जुड़े हैं, जिन्हें 233 करोड़ रुपये का फसल लोन मिला है. अब कृषि लोन की इस शानदार स्कीम में मार्च 2023 तक 3.17 लाख किसानों को शामिल करने का प्लान है. इसके लिए किसानों को सहकारी समितियों से जोड़ा जा रहा है. ये आसान प्रोसेस के जरिए किसानों को लोन उपलब्ध करवाती है. 


अधिकारियों ने दी जानकारी
राजस्थान के किसानों को अब सस्ती ब्याज दरों पर सब्सिडी के साथ फसल ऋण उपलब्ध करवाया जा रहा है. इस अवसर पर सहकारिता की प्रमुख शासन सचिव श्रेया गुहा ने अपेक्स बैंक हॉल में सभी केंद्रीय सहकारी बैंकों के प्रबंध निदेशकों के साथ बैठक की. इस अवसर पर सचिव श्रेया गुहा ने बताया कि सरकार की यह प्राथमिकता है कि योग्य किसानों को कृषि और मध्यम अवधि का लोन उपलब्ध करवाया जाए. किसानों को आसानी से यह लोन उपलब्ध करवाने के लिए नाबार्ड कार्यक्रमों का उपयोग करने का प्लान है. 


किसानों को 45 दिन की प्रोफेशनल ट्रेनिंग
इस बैठक में श्रेया गुहा ने बताया कि किसानों को एग्री बिजनेस के मॉडल से जोड़ने के लिए केंद्र और राज्य सरकारें कई कार्यक्रम चला रही है. केंद्र सरकार ने कृषि व्यवसाय को बढ़ावा देने के लिए एग्री क्लिनिक-एग्री बिजनेस सेंटर योजना भी चलाई है. इस स्कीम के तहत कृषि से जुड़े बिजनेस करने के लिए नाबार्ड और अन्य वित्तीय संस्थान किसानों को सस्ती दरों पर लोन भी देते हैं. ऐसे में किसान भी इन योजनाओं का लाभ उठाकर कृषि स्टार्ट-अप या दूसरे एग्री बिजनेस चालू कर सकते हैं और अपनी आमदनी बढ़ा सकते हैं.सचिव श्रेया गुहा ने यह भी बताया कि एग्री क्लिनिक-एग्री बिजनेस सेंटर योजना का सबसे बड़ा फायदा ये है कि कृषि लोन या आर्थिक सहायता मिलने से पहले ही सरकार की तरफ से लाभार्थी किसानों को 45 दिनों का कौशल-आधारित प्रशिक्षण दिया जाता है.






एग्री बिजनेस के लिए 25 लाख रुपये की मदद
सहकारिता की प्रमुख शासन सचिव श्रेया गुहा ने बताया कि कुछ समय पहले तक किसानों को सहकारी बैंकों से सिर्फ कृषि आधारित कामों के लिए लोन मिलता था. कृषि के अलावा दूसरे काम के लिए लोन लेना लगभग मुश्किल ही था, लेकिन अब एग्री बिजनेस यानी कृषि से जुड़ा कोई भी व्यवसाय करने के लिए नेशनल बैंक फॉर एग्रीकल्चर एंड रूरल डेवलपमेंट (NABARD) की ओर से 20-25 लाख रुपये तक का लोन मुहैया करवाया जा रहा है. 


किसानों को मिल रही 44% सब्सिडी
किसानों के ऊपर से कर्ज का बोझ कम करने और उन्हें आर्थिक तौर पर सशक्त बनाने के लिए केंद्र सरकार ने कई योजनाएं चलाई हैं. इन स्कीम्स के तहत किसानों पर से कर्ज को बोझ हल्का करने के लिए ब्याज पर 36% से 44% तक सब्सिडी दी जा रही है. इस में सामान्य वर्ग के किसानों को 36% और एससी-एसटी, महिला आवेदकों को 44% सब्सिडी का प्रावधान है. इस योजना की सबसे खास बात यह है कि अगर किसान उत्पादन संगठन या 5 किसानों का समूह भी लोन के लिए अप्लाई करता है तो 1 करोड़ तक का ऋण दिया जाता है. इस योजना में आवेदन करने वाले योग्य किसानों, युवा उद्यमियों और पेशेवरों को 45 दिनों का कौशल प्रशिक्षण की सुविधा भी मिलती है.


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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