Solar Agriculture livelihood Mission: राजस्थान में ज्यादातर जमीन सूखी और बंजर है, जिनसे फसलों का उत्पादन नहीं ले सकते. कुछ इलाकों में इन जमीनों पर औषधीय खेती (Herbal Farming) करने की मुहीम चलाई जा रही है, लेकिन जागरुकता की कमी के कारण ऐसी कई जमीनें खाली पड़ी रहती हैं. ये जमीनें किसी काम नहीं आतीं. कोई भी किसान इन जमीनों को खरीदता भी नहीं है, जिसके चलते ये बस कागजों में ही दर्ज रहती है, लेकिन अब राजस्थान सरकार (Rajasthan Government)  ने इन जमीनों के जरिये ही किसानों को रोजगार कमाने का मौका  दिया है.


दरअसल राजस्थान में सौर कृषि आजीविका योजना (Solar Agriculture livelihood Mission) चलाई जा रही है, जिसके तहत कोई भी किसान अपनी बंजर और बिना काम वाली जमीन को लीज पर देकर अच्छा पैसा कमा सकता है. अब सवाल यह है कि ये जमीन लीज पर लेगा कौन?


बता दें कि इन जमीनों पर सोलर एनर्जी यानी सौर ऊर्जा प्लांट (Solar Energy Plant) लगाये जाएंगे. किसान चाहें तो खुद या फिर किसी व्यक्तिगत निवेशक, कंपनी या अन्य किसानों को सोलर प्लांट (Solar Plant in Rajasthan) लगाने के लिये जमीन लीज पर दे सकते है. बता दें कि इस योजना से जुड़ने के लिए सरकार ने एक पोर्टल भी बनाया है. 






इस तरह लें फायदा


जानकारी के लिए बता दें कि राजस्थान में बंजर और अनुपयोगी जमीनों के मालिक किसानों को कृषि सौर आजीविका मिशन के तहत अपनी पंजीकरण करवाना होगा. इसके लिए राज्य सरकार ने पोर्टल भी बनाया है. इस पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन होने के बाद योजना का लाभार्थी सीधा पोर्टल पर जमीन का जायजा ले सकता है और जमीन पर सोलर एनर्जी प्लांट भी लगवा सकते हैं.


इसके लिए प्रधानमंत्री कुसुम योजना (PM Kusum Yojana) के तहत लाभार्थी किसान को 30 प्रतिशत तक अनुदान भी मिलेगा. इसके अलावा, जमीन का मालिकाना हक रखने वाले किसान को भी जोखिम से सुरक्षा प्रदान की जाएगी और एक निश्चित भुगतान भी मिलेगा. इसके लिए राज्य सरकार की ओर से भूमि मालिक या किसान, डेवलपर और संबंधित डिस्कॉम या कंपनियों के बीच एक एग्रीमेंट भी साइन होगा.


सौर ऊर्जा से बढ़ेगी किसानों की आय


राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने इस योजना की जानकारी देते हुये बताया कि राज्य सरकार के इस फैसले से सौर ऊर्जा उत्पादन बढ़ेगा और राजस्थान को एक हरित ऊर्जा (Green Energy) राज्य बनाने का लक्ष्य भी हासिल हो सकेगा. राज्य सरकार के इस कदम से ऊर्जा के पारंपरिक स्रोतों पर निर्भरता के साथ-साथ पर्यावरण प्रदूषण (Environmental Pollution) का स्तर भी काफी कम हो जाएगा.


Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ कुछ मीडिया रिपोर्ट्स और जानकारियों पर आधारित है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.


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