Land Seeding for PM Kisan: 17 अक्टूबर को ही प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की 12वीं किस्त किसानों के बैंक खातों में ट्रांसफर कर दी गई थी, लेकिन बड़ी संख्या में लाभार्थी किसानों को अभी तक पीएम किसान की 12वीं किस्त के 2,000 रुपये नहीं मिले हैं, जिसके पीछे लैंड सीड़िंग एक बड़ी समस्या हुई है. वहीं कुछ किसानों ने अभी तक केवाईसी (PM Kisan KYC) नहीं करवाई है, जिसके कारण 12वीं किस्त का पैसा नहीं भेजा गया है. पीएम किसान योजना (PM Kisan Yojana Update) में बढ़ती धोखाधड़ी की घटनाओं के मद्देनजर केंद्र सरकार ने ई-केवाईसी और लैंड सीडिंग (Land Seeding) को अनिवार्य कर दिया है.
अब यदि पीएम किसान के लाभार्थी होते हुए भी 2,000 रुपये नहीं मिल पा रहे हैं तो फटाफट इन दोनों ही कामों को पूरा करना होगा. ई-केवाईसी के बारे में ज्यादातर किसान परिचित हैं ही, लेकिन आज हम लैंड सीडिंग के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसके चलते महीनेभर तक किसानों को पीएम किसान का पैसा नहीं मिल पाया है. इस प्रोसेस को फॉलो करके किसान अपनी लैंड सीडिंग यानी भू-आलेखों का सत्यापन करवा सकते हैं.
क्या है लैंड सीडिंग
लैंड सीडिंग को आसान भाषा में भू-आलेखों का सत्यापन कहते हैं. पीएम किसान योजना से जुड़े रहने के लिए अब लैंड सीडिंग को अनिवार्य कर दिया गया है यानी अब पीएम किसान योजना से जुड़े रहने के लिए लाभार्थी किसान को अपनी खेती योग्य भूमि का वेरिफिकेशन और लिंक करवाना होगा. बता दें कि पीएम किसान योजना के तहत 2 एकड़ या उससे कम जमीन वाले किसानों को ही दो-दो हजार रुपये की तीन किस्तों में हर साल 6,000 रुपये दिए जाते हैं.
लैंड सीडिंग का मुख्य उद्देश्य यही पता लगाना है कि पीएम किसान योजना के नियमों के मुताबिक, किसान के नाम 2 एकड़ या उससे कम जमीन है या नहीं. इसके सत्यापन के लिए किसानों के नाम जमाबंदी, खेत के कागजात, खतरा नंबर, खतौनी के कागज होने अनिवार्य है, जिस पर लाभार्थी किसान का नाम हो. इस बीच समस्या ये भी है कि अगर पूर्वजों या पुरखों के नाम जमीन है तो किसान की पात्रता रद्ध कर दी जाएगी.
इस तरह करवायें लैंड सीडिंग
पीएम किसान योजना के जिन लाभार्थी किसानों को 12वीं किस्त का पैसा नहीं मिल है, वो तुरंत लैंड सीडिंग यानी भू-आलेखों का सत्यापन करवायें.
- अगर लाभार्थी इस योजना से जुड़े रहना चाहते हैं तो जल्द से जल्द अपनी जमीन के कागजात का वेरिफिकेशन और योजना में लिंक करवाना होगा.
- लैंड सीड़िंग की प्रोसेस में किसान को क्षेत्र के पटवारी या जिला/ब्लॉक के कृषि अधिकारियों से Physical Verification करवाना होता है.
- इसके लिए अपने ब्लॉक के कृषि कार्य से सम्बंधित कर्मचारी या पटवारी से जाकर मिलें और लैंड सीडिंग के लिए परमिशन लें.
- यहां अधिकारी या पटवारी खुद किसानों को आवश्यक दस्तावेजों के बारे में जानकारी देंगे, जिन्हें जल्द से जल्द प्रस्तुत करना होगा.
- इसके बाद पटवारी या जिला/ब्लॉक के कृषि अधिकारी कागजात का वेरिफिकेशन और जमीन का फिजिकल वेरिफिकेशन करेंगे.
कैसे चैक करें लैंड सीडिंग है या नहीं
अब पीएम किसान योजना से जुड़े रहने के लिए सभी किसानों को ये चेक करना होगा कि उनकी लैंड सीडिंग यानी भूमि आलेखों का सत्यापन या लिंकेज हुई है या नहीं. ये प्रोसेस बेहद आसान है.
- सबसे पहले पीएम किसान योजना की आधिकारिक वेबसाइट pmkisan.gov.in पर विजिट करना होगा.
- यहां होमपेज पर दाईं तरफ 'Beneficiary Status'के विकल्प पर क्लिक कर दें.
- अगला वेबपेज खुलते ही बेनिफिशियरी स्टेटस चेक करने के दो तरीके मिलेंगे.
- किसान चाहें तो आधार से लिंक मोबाइल नंबर या फिर अपना रजिस्ट्रेशन नंबर डालकर भी जांच कर सकते हैं.
- अपना रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर डालने के बाद कैप्चा कोड भरें और गेट डेटा पर क्लिक करें.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. किसान भाई, किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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