Love Astrology: ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सभी ग्रहों की खास भूमिका होती है, जिसका प्रभाव हमारे जीवन पर पड़ता है. इसी तरह व्यक्तिगत संबंध और प्रेम के मामले में भी ग्रहों की भूमिका महत्वपूर्ण मानी जाती है. प्यार में धोखा मिलना, बिना बात के झगड़े होना और ब्रेकअप हो जाना सभी ग्रहों की अनुकूलता की वजह से ही होते हैं.
यदि कुंडली में कुछ ग्रह मजबूत स्थिति में रहते हैं तो प्रेम जीवन में सफलता मिलती है. वहीं ग्रहों की कमजोर स्थिति प्यार में ग्रहण बन जाती है. आमतौर पर ऐसा माना जाता है कि शनि, मंगल, राहु और केतु यदि कुंडली में शुभ न हो तो धन हानि कराते हैं. लेकिन यदि ये ग्रह शुभ स्थिति में न हों तो आपके प्रेमी जीवन पर ग्रहण भी लगा सकते हैं. ये ग्रह प्यार में धोखा और लव पार्टनर से ब्रेकअप भी कराते हैं.
लव लाइफ के लिए शनि की दृष्टि खतरनाक
वैदिक ज्योतिष (Vedic Astrology) के अनुसार कुंडली के पंचम भाव का संबंध प्रेम से होता है. इस भाव या घर में यदि शनि की दृष्टि रहती है तो लव लाइफ में बहुत परेशानियों का सामना करना पड़ता है. कई बार परेशानियां इतनी बढ़ जाती है कि ब्रेकअप की स्थिति आ जाती है. ऐसे में शनि से संबंधित उपाय करने चाहिए.
लव लाइफ में मंगल की भूमिका
मंगल ग्रह के अशुभ होने पर भी लव रिलेशन में दिक्कत रहती है. मंगल अशुभ होकर क्रोध में वृद्धि कराते हैं. इससे अचानक प्रेमी के साथ संवाद कम होने लगता है या फिर अहम की वजह से वाद-विवाद की स्थिति बनी रहती है.
राहु और केतु कराते हैं बेक्रअप
राहु और केतु ऐसे ग्रह हैं जो अलगाव कराते हैं. ज्योतिष के अनुसार राहु-केतु की महादशा (Mahadasha) लव लाइफ (Love Life) के लिए बेहद खतरनाक है. कुंडली में राहु-केतु के कमजोर होने पर व्यक्ति में धैर्य की कमी आने लगती है, व्यक्तिगत संबंधों में प्रतिबद्ध होने और रिश्तों को निभाने में परेशानियां आती है.
प्रेम (Love) में अस्थिरता रहती है और इस तरह से लव पार्टनर के साथ ब्रेकअप की संभावना बढ़ जाती है. कुंडली (Kundli) में राहु-केतु (Rahu Ketu) की महादशा से प्रेमी जीवन में तनाव बढ़ता है, जिससे की मेल-जोल में कठिनाई होती है.
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