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Chanakya Niti: इन 4 आदतों के कारण, व्यक्ति को नहीं मिलती है जीवन में सफलता, जानें चाणक्य नीति
चाणक्य की चाणक्य नीति कहती है कि व्यक्ति को यदि जीवन में सफलता प्राप्त करनी है तो कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए.व्यक्ति को गलत आदतों से हमेशा दूर रहना चाहिए. आइए जानते हैं चाणक्य नीति
![Chanakya Niti: इन 4 आदतों के कारण, व्यक्ति को नहीं मिलती है जीवन में सफलता, जानें चाणक्य नीति Chanakya Niti Do Not Work Hard In Youth They Are Never Able To Achieve Their Goals Chanakya Niti: इन 4 आदतों के कारण, व्यक्ति को नहीं मिलती है जीवन में सफलता, जानें चाणक्य नीति](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2021/06/07/d96c5b5b6fa31837a85ba77684f996f4_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Chanakya Niti in Hindi: चाणक्य के अनुसार हर व्यक्ति जीवन में सफलता प्राप्त करना चाहता है. सफलता प्राप्त करने के लिए व्यक्ति अपने स्तर से हर संभव परिश्रम और प्रयास भी करता है, लेकिन कभी कभी व्यक्ति उस सफलता को प्राप्त नहीं कर पाता है, जिसकी उसने कल्पना की थी.
चाणक्य की मानें तो व्यक्ति में जब गलत आदतें प्रवेश कर जाती है तो वह वो अपने लक्ष्य से भटक जाता है, या फिर उसे वो सफलता प्राप्त नहीं होती है कि जिसके लिए उसने विचार किया था. चाणक्य के अनुसार व्यक्ति को गलत आदतों से दूर रहना चाहिए. जीवन में यदि बड़ा लक्ष्य लेकर आगे बढ़ रहे हैं तो इन आदतों का जितनी जल्दी हो सके, उतनी जल्दी त्याग कर देना चाहिए.
गलत आदतें व्यक्ति की क्षमता और प्रतिभा, दोनों को प्रभावित करती हैं. गलत आदतें व्यक्ति को जल्दी प्रभावित करती हैं. इसलिए व्यक्ति इन आदतों को तरफ कब आकर्षित हो जाता है, उसे स्वयं ज्ञात नहीं होता है. जब परिणाम नकारात्मक आने लगते हैं, तब उसे इन गलत आदतों का अहसास होता है. चाणक्य के अनुसार इन गलत आदतों को दूर करने के लिए व्यक्ति को हर संभव प्रयत्न करना चाहिए-
- गलत संगत से दूर रहें
चाणक्य के अनुसार व्यक्ति को अपनी संगत को लेकर हमेशा गंभीर रहना चाहिए. गलत संगत व्यक्ति की तरक्की में सबसे बड़ी बाधक है. जो इस बात को समय रहते, समझ लेते हैं वे आगे बढ़ जाते हैं. - परिश्रम करने से न घबराएं
चाणक्य कहते हैं कि परिश्रम में ही सफलता का रहस्य छिपा है. जो व्यक्ति खास तौर से युवावस्था में परिश्रम नहीं करते हैं वे कभी अपने लक्ष्यों को प्राप्त नहीं कर पाते हैं. इसलिए परिश्रम से कभी नहीं भागना चाहिए. - धैर्य बनाएं रखें
आचार्य चाणक्य कहते हैं कि व्यक्ति को कभी कभी अपने लक्ष्य को प्राप्त करने में बाधाओं का भी सामना करना पड़ता है. बाधाएं आने पर परेशान नहीं होना चाहिए. जो धैर्य बनाए रखते हैं, वे सफलता प्राप्त करते हैं. - हर कार्य को समय पर करें
चाणक्य के अनुसार जो लोग समय की कीमत को नहीं पहचानते हैं, वे आगे चलकर दुखी और परेशान होते हैं. जीवन में अनुशासन की भूमिका को गंभीरता से समझना चाहिए. अनुशासन से ही कार्यों को समय पर पूर्ण करने की प्रेरणा मिलती है.
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