(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
केतु खाना नंबर 3 में हो तो ऐसा व्यक्ति प्राइवेट जॉब में रहता है सबसे ज्यादा परेशान
Ketu Khana no 3: कुंडली में 12 खाने होते हैं. इन खानों और इनमें बैठे ग्रहों का व्यक्ति के जीवन पर तगड़ा प्रभाव रहता है. केतु कुंडली के तीसरे भाव (Ketu in 3rd House) में हो तो क्या कष्ट देता है, जानें.
Ketu in 3rd House: केतु का नाम तो सभी ने सुना होगा. इस ग्रह का नाम अक्सर राहु (Rahu) के साथ लिया जाता है. राहु केतु एक ही राक्षस के दो भाग हैं. इसलिए इनका नाम अक्सर साथ आता है. विज्ञान की भाषा में जो नॉर्थ पोल और साउथ पोल हैं, वैदिक ज्योतिष में यही राहु-केतु हैं. यहां केतु की चर्चा करते हैं.
केतु (Ketu) को अशुभ ग्रह माना गया है. ज्योतिष में इसे पाप ग्रह की श्रेणी में रखा गया है. केतु को छाया ग्रह भी बताया गया है.यानि की इसका कोई अपना वजूद नहीं है. केतु के बारे में लाल किताब में विशेष बातें बताई गई हैं.
वैदिक ज्योतिष (Vaidik Jyotish) के अनुसार केतु जब कुंडली के खाना नंबर 3 यानि तीसरे भाव में विराजमान हो तो ऐसे व्यक्ति के जीवन में कई तरह की परेशानियां देखने को मिलती हैं, कुछ विद्धानों का तो ये तक मानना है कि इस भाव में बैठा केतु ग्रह व्यक्ति को जीवन भर दुखी बनाता है. ऐसा व्यक्ति जीवनभर संघर्ष करता रहता है.
केतु खाना नंबर 3 (ketu khana no 3) में हो और कुंडली में बुध ग्रह और मंगल ग्रह पीड़ित या कमजोर हो तो ऐसे व्यक्ति परेशान और समस्याओं से ही घिरा रहता है. एक समस्या से बाहर निकलता है तो दूसरी उसे तैयार मिलती है.
ऐसा क्यों होता है?
कुंडली का तीसरा भाव बुध का घर कहलाता है. कालपुरूष की कुंडली (Kundli) में कुंडली की तीसरा भाव मिथुन राशि (Mithun Rashi) को मिला हुआ है. मिथुन राशि का स्वामी बुध ग्रह (Budh Grah) है. जब केतु तीसरे घर में विराजमान हो जाता है तो ये नीच का हो जाता है. तीसरे भाव का संबंध मंगल (Mangal) से भी है, लेकिन केतु की इन दोनों ही ग्रहों से नहीं निभती है. इसलिए जब केतु यहां पर आता है तो अशुभ फल प्रदान करता है.
जॉब करने वालों के लिए केतु का फल
जो लोग प्राइवेट जॉब (Private Job) करते हैं, उनके लिए केतु का फल विशेष देखा गया है. केतु (Ketu) खाना नंबर तीन में हो तो ऐसा व्यक्ति बॉस या अपने सीनियर को किसी काम के लिए इंकार नहीं कर पाते हैं. जिस कारण कई बार इनका शोषण भी होता है. इस आदत के कारण ये अंदर ही अंदर दुखी भी रहते हैं.
वहीं ये भी देखा गया है कि जिन लोगों का केतु तीसरे भाव में होता है उनकी अपने भाईयों से नहीं बनती है. ये सदैव उनकी तरक्की से दुखी रहते हैं और कंपटीशन करते रहते हैं. इस खाने में बैठा केतु एक अच्छा गुण भी देता है, ऐसे लोग साहसी होते हैं, ये कभी जॉबलेस नहीं रहते हैं. किसी कारण से यदि इनकी जॉब छूट भी जाए तो इन्हें जल्दी ही कोई नई जॉब मिल जाती है.
उपाय
केतु खाना नंबर 3 (ketu khana no 3) में हो तो ऐसे लोगों को दोनों कानों में सोने की बालियां पहननी चाहिए. ऐसा करने से केतु की अशुभता कम होती है. गणेश जी की पूजा करने से भी केतु का दोष दूर होता है. ऐसे लोगों को मांस मदिरा और झूठ बोलने से बचना चाहिए. जो गलत काम करते हैं उनसे कतई दोस्ती नहीं करनी चाहिए.
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