(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Mokshada Ekadashi 2023: मोक्षदा एकादशी के दिन जरूर करें ये काम, बरसेगी मां लक्ष्मी की कृपा
Mokshada Ekadashi Puja: मोक्षदा एकादशी के दिन पूरी श्रद्धा से भगवान विष्णु के लिए उपवास रखा जाता है. इस दिन विधिपूर्वक उनकी पूजा करने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
Mokshada Ekadashi Date 2023: शास्त्रों में एकादशी के दिन को बहुत पवित्र और महत्वपूर्ण माना गया है. इस एकादशी को मोह का नाश करने वाली एकादशी भी कहा जाता है. मोक्षदा एकादशी के दिन पूरे श्रद्धा भाव से श्री हरि की आराधना की जाती है. द्वापर युग में इसी दिन भगवान श्री कृष्ण ने कुरुक्षेत्र में गीता ज्ञान दिया था. इसलिए इस दिन गीता जयंती भी मनाई जाती है. इस बार मोक्षदा एकादशी 23 दिसंबर के दिन मनाई जाएगी. माना जाता है कि इस दिन कुछ खास काम करने से माता लक्ष्मी की भी कृपा बरसती है.
मोक्षदा एकादशी के दिन करें ये काम
मोक्षदा एकादशी के दिन भगवान श्री कृष्ण और श्रीमद् भागवत गीता का पूजन किया जाता है. इस दिन कुछ खास काम करने से विष्णु भगवान और माता लक्ष्मी की विशेष कृपा प्राप्त होती है. मोक्षदा एकादशी के एक दिन पहले यानी दशमी तिथि को दोपहर में एक बार भोजन करना चाहिए. एकादशी के दिन सुबह उठकर स्नान करने के बाद व्रत का संकल्प लेना चाहिए. इसके बाद भगवान श्री कृष्ण की पूजा करें. उन्हें धूप,दीप और नैवेद्य आदि अर्पित करें. इस दिन रात में जगकर पूजा और जागरण करना चाहिए.
एकादशी के अगले दिन द्वादशी को पूजन के बाद जरुरतमंद व्यक्ति को भोजन और दान-दक्षिणा देनी चाहिए. इसके बाद भोजन ग्रहण करके व्रत खोलना चाहिए. इस दिन दान- पुण्य करने वालों को कभी किसी मुसीबत का सामना नहीं करना पड़ता है. इस दिन पर अनाज का दान करना बहुत शुभ माना जाता है. दान-दक्षिणा के बाद ही व्रत का पारण करना चाहिए. इस दिन गीता का पाठ करना और सुनना बहुत पुण्यदायी माना जाता है.
मोक्षदा एकादशी का महत्व
पुराणों में इस एकादशी का विशेष महत्व बताया गया है. माना जाता है कि इस व्रत के प्रभाव से पूर्वजों को मोक्ष की प्राप्ति होती है और उन्हें कर्मों के बंधन से मुक्ति मिलती है. इस व्रत को करने से मनुष्य के सभी पापों का नाश होता है. यह बहुत पुण्यदायिनी और मोक्षदायिनी एकादशी मानी जाती है. शास्त्रों में मोक्षदा एकादशी के महत्व का विस्तृत वर्णन है. इस एकादशी के दिन ही भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को गीता का ज्ञान दिया था. इस दिन व्रत करने से सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है और पापों का क्षरण होता है.
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