Surya Rashi Parivartan 2020: सूर्य को ज्योतिष शास्त्र में आत्मा का कारक माना गया है. सूर्य का संबंध का मान सम्मान और उच्च पद से भी है. जन्म कुंडली में सूर्य जब शुभ होते हैं तो व्यक्ति को लोकप्रिय बनाते हैं. इस समय सूर्य वृश्चिक राशि में गोचर कर रहे हैं.


सूर्य का धनु राशि में गोचर 15 दिसम्बर को रात्रि 9 बजकर 19 मिनट होने जा रहा है. धुन राशि को देव गुरु बृहस्पति की राशि माना गया है. इस राशि के स्वामी वृहस्पति मकर राशि में शनि के साथ युति बनाकर गोचर कर रहे हैं. सूर्य की बृहस्पति से मित्रता है. इसलिए मित्र के घर में आना कई मामलों में शुभ फल प्रदान करने वाला माना जा रहा है.


धनु एक अग्नि तत्व की राशि है और सूर्य भी अग्नि तत्व प्रधान ग्रह माने जाते हैं ऐसे में सूर्य का यह परिवर्तन कई मामलों में शुभ फल देने जा रहे हैं. धनु राशि में सूर्य के परिवर्तन को धनु संक्रांति भी कहा जाता है. सूर्य राशि परिवर्तन का मेष, मिथुन और सिंह राशि पर क्या प्रभाव पड़ने जा रहा है, जानते हैं.


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मेष राशि वालों प्राप्त होगा मान सम्मान
मेष राशि में जन्म कुंडली के सूर्य पंचम भाव के स्वामी माने गए हैं. मेष राशि में सूर्य का गोचर नवम भाव में होने जा रहा है. इस दौरान आपको कई मामलों में सर्तकता बरतनी होगी. नवम भाव में सूर्य का गोचर पिता की दिक्कतें दे सकता है. इसलिए उनके स्वास्थ्य को लेकर सचेत रहें. इस गोचर काल में मान सम्मान में वृद्धि होगी, स्थान परिवर्तन का योग भी बन सकता है. व्यापार और जॉब में सूर्य का यह गोचर अच्छा फल प्रदान करेगा. धर्म कर्म के कार्यों में रूचि बढ़ेगी.


मिथुन राशि वाले वाद विवाद से दूर रहें
मिथुन राशि में सूर्य का गोचर सातवें भाव में होने जा रहा है. इस दौरान दांपत्य जीवन को लेकर गंभीर रहना होगा. वाद विवाद की स्थिति से दूर रहने का प्रयास करना होगा. जॉब और बिजनेस में अधिक परिश्रम करने की जरूरत है. वहीं जल्दी किसी पर भरोसा करना हानि भी पहुंचा सकता है. इस दौरान कोई नया करोबार आरंभ कर सकते हैं. ऑफिस में आपके कार्यों की सराहना हो सकती है. नई जिम्मेदारियां मिल सकती हैं. वाणी में मधुरता बनाएं रखें.


सिंह राशि वालों को मानसिक तनाव हो सकता है
सिंह राशि के स्वामी सूर्य हैं. इसलिए आपके लिए सूर्य का राशि परिवर्तन विशेष महत्व रखता है. सिंह राशि में सूर्य का पंचम भाव में गोचर होने जा रहा है. पंचम भाव का शिक्षा का भाव भी माना गया है. इस गोचर काल में आपको मानसिक तनाव हो सकता है. मनचाहे फल प्राप्त न होने से कुछ निराशा भी हो सकती है. लेकिन धैर्य बनाए रखें. इस दौरान नए और प्रभावशाली लोगों से संपर्क स्थापित करने में सफल रहेंगे. आए के श्रोत बढ़ सकते हैं. क्रोध आदि से बचें.


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