Shani Gochar 2023, Sade Sati, Shni Dhaiya: ज्योतिष में शनि को सभी ग्रहों में एकमात्र ‘न्यायाधीश‘का पद प्रदान किया गया है. शनि ग्रहों में श्रेष्ठ सूर्य और छाया के पुत्र है. शनि स्वभाव में नरम से कहीं अधिक क्रूर निष्ठुर हैं. ये ढैय्या या साढ़ेसाती के दौरान दुष्कर्मियों, अपराधियों, अधर्मियों के छक्के छुड़ा देते हैं. उन्हें कठोर दंड भी देते हैं. ज्योतिष के मुताबिक़ नए साल में शनि का मिजाज अधिक उग्र होता लग रहा है.


शनि देव का स्वभाव?


सभी ग्रहों में शनि सर्वाधिक बैचेन, उग्र ग्रह हैं. शनि वक्री अवस्था में होने के अलावा भी ढै़य्या, साढ़ेसाती और  महादशा में अधिक निष्ठुर एवं क्रूर होते हैं. इनके इस स्वभाव से लगभग सभी परिचित हैं. शनि देव को कोई लोभ या लालच नहीं है. दुष्कर्मियों, अपराधियों, अधर्मियों को दण्डित करते समय उनके पास न तो कोई सिफारिश चलती है और न ही कोई रिश्वत. देवाधिदेव श्री शिव भगवान ने  ही शनि को न्यायाधीश का पद प्रदान किया था.   


शनि देव हर किसी को देते हैं निष्पक्ष न्याय


शनि हर किसी को उनेक कर्मों के अनुसार शुभ-अशुभ फल प्रदान करते हैं. अपराध के अनुसार दण्डित करने की उनकी व्यवस्था पर आज तक कोई भी देवी-देवता, योगी, ऋषि-मुनि आदि ने अंगुली तक नहीं उठा पाए हैं. पंडित सुरेश श्रीमाली ने बताया है कि शनि देव को इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि कौन कितना बड़ा या छोटे प्रभाव-पद या सत्ताधारी-धनाढ्य है. वे सभी के साथ निष्पक्ष न्याय करते हैं.


साल 2023 में इन राशियों पर होगी शनि की ढै़य्या और साढ़ेसाती का प्रभाव


हर साल शनि देव किसी-न-किसी राशि के लोगों को ढै़य्या और साढ़ेसाती की चपेट में लेते हैं. नए साल यानी 2023 में शनि जब 17 जनवरी को कुंभ राशि में प्रवेश करेंगे तो मकर, कुंभ और मीन राशि पर साढ़ेसाती तथा कर्क एवं वृश्चिक राशि वालों पर शनि ढै़य्या रहेगी.


शनि की साढ़ेसाती और ढैय्या का असर


शनि की साढ़ेसाती का प्रभाव मीन राशि वालों के सिर पर, कुंभ राशि वालों के हृदय पर तथा मकर राशि वालों के पैरों पर रहेगा. इसके अलावा भी मेष, वृष, मिथुन, कर्क, सिंह, कन्या, तुला, वृश्चिक, धनु, मकर, कुंभ तथा मीन से अलग-अलग स्थानों में भ्रमण भी करेंगे. इस साल शनि देव किसी उद्योगपति, किसी सत्ताधारी, किसी नेता-अभिनेता आदि को लाभ देंगे तो किसी को नुकसान भी पहुँचायेगे. तो वे किसी को अधर में भी छोड़ सकते हैं. नए साल में ऐसे कई योग बनेंगे जिसमें शनि का दखल होगा.


साल 2023  में शनि की ऐसी रहेगी स्थिति


साल 2023  में शनि की गतिविधियां बेहद महत्पूर्ण है. वे 17 जनवरी 2022 दिन मंगलवार, माघ कृष्ण पक्ष की दशमी को 17.47 बजे मकर राशि को छोड़कर कुंभ राशि में प्रवेश करेंगे और वे वहां पर 17 जून दिन शनिवार, आषाढ़ कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को 22.57 से वक्री होंगे. उसके बाद 4 नवम्बर 2023 दिन शनिवार कार्तिक कृष्ण पक्ष की सप्तमी को 12.30 से मार्गी हो जाएंगे.


नए साल में शनि कब उदय होंगे और कब अस्त होंगे?


पंडित सुरेश श्रीमाली ने बताया है कि शनि देव 30 जनवरी 2023 सोमवार, माघ शुक्ल पक्ष की नवमी को पश्चिम दिशा में अस्त होंगे और 5 मार्च 2023 दिन रविवार फाल्गुन शुक्ल की त्रयोदशी को पूर्व दिशा से उदित होंगे. मंगलवार 22 अगस्त द्वितीय श्रावण शुक्ल की षष्ठी को शतभिषा नक्षत्र के प्रथम चरण में प्रवेश करेंगे.


पंडित सुरेश श्रीमाली के कथनानुसार, साल 2023 में लगने वाले 4 ग्रहणों में से दो ग्रहण -14 अक्टूबर को कंकणाकृति सूर्य ग्रहण तथा 28 अक्टूबर को खंडग्रास चंद्र ग्रहण शनिवार के दिन ही लगेंगे.


साल 2023 में कैसा रहेगा शनि का असर


वर्ष 2023 में शनि स्वराशि कुंभ में रहते हुए एक ओर अधर्मियों, अपराधिक प्रवृति वालों, महिलाओं का अपमान, प्रताड़ित तथा दुष्कृत्य करने वालों के ऊपर उग्र रहेंगे. तो वहीं इनके प्रभाव से विश्व के कई देशों पर अशांत, टकराव, आपदा से संकट ग्रस्त होने के योग भी बनेंगे. इसके अलावा कुछ देशों में प्रकृति का विनाशक प्रकोप देखने को मिलेगा तो वहीं सीमान्त प्राप्तों में युद्ध जैसी स्थिति से जन-धन के हानि की संभावना भी रहेगी. इस वर्ष दो श्रावण मास में एक अधिकमास होना अशुभ, भय, वर्षा, भूकम्प आदि से त्रस्त कर सकता है.


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