Shani Ki Dhaiya: शनि की ढैय्या का नाम लोगों को भयभीत कर सकता है. शनि की ढैय्या का प्रकोप लोगों पर ढाई साल तक रहता है. शनि के गोचर के साथ जिन राशियों पर शनि की ढैय्या चल रही होती है उनमें बदलाव होता है.
इस समय शनि की ढैय्या कर्क और वृश्चिक राशि पर चल रही है. लेकिन साल 2025 में शनि के गोचर के साथ इन दोनों राशियों को शनि के प्रकोप से मुक्ति मिलेगी और सिंह और धनु राशि वालों पर शनि की ढैय्या का असर शुरु हो जाएगा.
साल 2025 में 29 मार्च को शनि अपना राशि परिवर्तन करने वाले हैं. शनि का गोचर या राशि परिवर्तन मीन राशि में होगा. इस समय शनि अपनी स्वंय की राशि कुंभ में विराजमान हैं. शनि के गोचर के बाद सिंह और धनु राशि वाले शनि की ढैय्या के प्रकोप से बचने के लिए इन उपाय को कर सकते हैं.
पीपल के पेड़ की पूजा
शनि की ढैय्या के प्रकोप से बचने के लिए या उसके प्रभाव को कम करने के लिए पीपल के पेड़ की पूजा करें, रोज नहीं कर पा रहें तो शनिवार के दिन पीपल के पेड़ पर जल अवश्य चढ़ाएं.
काले कुत्ते की सेवा
शनि की ढैय्या के प्रभाव को कम करने के लिए शनिवार के दिन काले कुत्ते के सेवा करें, अन्यथा किसी भी कुत्ते के सेवा करें, मारे नहीं, भगाएं नहीं. विशेष रुप से काले रंग के कुत्ते को दूध और रोटी खिलाएं.
शनि यंत्र की पूजा
शनि की ढैय्या जिस राशि पर भी चलती है उन लोगों को शनिवार के लिए शनि यंत्र की पूजा जरुर करनी चाहिए.
पितृ का आशीर्वाद
शनि की ढैय्या के प्रभाव को कम करने के लिए पितृ का आशीर्वाद जरुर लें. हर अमावस्या को अपने पितृ देवों को भोग लगाएं, ऐसा करने से पितृों का आशीर्वाद सदैव आप पर बना रहेगा.
दान
शनि की ढैय्या से बचने के लिए शनिवार के दिन उड़द की दाल का दान जरुर करें.
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