Myth About Electric Two-Wheeler: वो बातें जिनकी वजह से लोग इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर खरीदने की प्लनिंग कैंसिल कर देते हैं, सच जान लीजिये?
ईवी जेब से लेकर पर्यावरण तक के लिए फायदेमंद हैं. हालांकि टेक्नोलॉजी के और बेहतर होने के साथ साथ भारत में इनका यूज और भी ज्यादा बढ़ेगा.
Electric Two-Wheeler: एक तरफ घरेलू बाजार में इलेक्ट्रिक टू व्हीलर की बिक्री में बढ़ोतरी देखने को मिल रही है, तो वहीं दूसरी तरफ कुछ गलत फहमियां भी सुनने को मिलती हैं. आगे हम इन्हें दूर करने की कोशिश कर रहे हैं.
बारिश के लिए में सेफ नहीं- ज्यादातर लोगों को लगता है कि, इलेक्ट्रिक टू व्हीलर बारिश के लिए सुरक्षित नहीं होते या कम सुरक्षित होते हैं, जबकि ऐसा नहीं है. इन्हें बनाते समय इस बात का काफी ध्यान रखा जाता है. ताकि बारिश में भी इनको बाकि स्कूटर की तरह चलाया जा सके.
रेंज कम होती है- अगर आप इलेक्ट्रिक स्कूटर के बारे में गूगल पर सर्च करेंगे तो, ऐसे तमाम मॉडल मिल जायेंगे जो सिंगल चार्ज पर 100 से ज्यादा किलोमीटर तक की रेंज देने में सक्षम हैं. जोकि आमतौर पर डेली यूज के लिए काफी है.
स्पीड कम होती है- समय के साथ साथ टेक्नोलॉजी में बदलाव के चलते, अब इलेक्ट्रिक टू व्हीलर भी अच्छी स्पीड देने में सक्षम हैं. जोकि 150 किमी/घंटा तक हो सकती है.
मेंटेन करना काफी मुश्किल होता है- इलेक्ट्रिक टू व्हीलर में पेट्रोल के मुकाबले कम पार्ट्स होते हैं, यानि की इसके मेंटेनेंस पर भी ज्यादा खर्च करने की जरुरत नहीं पड़ती.
कम सेफ होते हैं- हाल ही में देखने को मिली कुछ आग लगने की घटनाओं को छोड़ दें, तो इलेक्ट्रिक टू व्हीलर काफी सेफ हैं. हालांकि इसे खरीदते समय कोशिश करें कि, ये किसी अच्छी कंपनी का हो. क्योंकि नामी कंपनियां इन्हें बनाने के लिए बेहतर टेक्नोलॉजी का प्रयोग करती हैं.
इलेक्ट्रिक गाड़ियां ही भविष्य हैं
इस तरह की गलत फहमियां ग्राहकों को इलेक्ट्रिक गाड़ी लेने से रोकती हैं, जबकि ईवी जेब से लेकर पर्यावरण तक के लिए फायदेमंद हैं. हालांकि टेक्नोलॉजी के और बेहतर होने के साथ साथ भारत में इनका यूज और भी ज्यादा बढ़ेगा.