Types of Four-Wheelers: अगर आप अपने लिए एक कार खरीदने की प्लानिंग कर रहे हैं, लेकिन ये तय नहीं कर पा रहे, कि कौन सी कार खरीदना बेहतर होगा. हैचबैक, सेडान या एसयूवी, तो हम आपको यहां इन गाड़ियों को कुछ फायदे और नुकसान बताने जा रहे हैं, जो आपको अपनी पसंद और जरुरत के हिसाब से कार खरीदने में मदद करेंगे.


हैचबैक


फायदे- ओवर-ऑल अगर देखा जाए तो, हैचबैक कार के फायदे काफी हैं. जिसमें सबसे बड़ा ये है, कि ट्रैफिक और पार्किंग को लेकर सेडान और एसयूवी की तुलना में इन गाड़ियों के साथ कम परेशानी देखने को मिलती है. इसके अलावा जरूरत पड़ने पर इसकी पिछली सीट को डाउन कर बूट स्पेस में ज्यादा सामान भी रखा जा सकता है. वहीं ये कार माइलेज के मामले में भी बाकी दोनों तरह की गाड़ियों से आगे है. यही वजह है कि हैचबैक गाड़ियों की रिसेल वैल्यू काफी अच्छी मिल जाती है.


नुकसान- इसके कुछ नुकसान भी हैं, जैसे इसका केबिन सेडान और एसयूवी की तुलना में छोटा होता है. टू-ड्राइव होने की वजह से पावर कम होती है, डेली यूज होने वाली कार है, इसलिए क्लास वाली फीलिंग नहीं आती.


सेडान


फायदे- सेडान गाड़ियों का माइलेज एसयूवी की तुलना में बेहतर होता है. केबिन में स्पेस अच्छा होता है. पांच लोग बिना किसी परेशानी के आराम से बैठ सकते हैं. बाकी कारों के मुकाबले लेटेस्ट सेफ्टी और सिक्योरिटी फीचर्स मिलते हैं और इसका इंश्योरेंस प्रीमियम भी हैचबैक के मुकाबले कम देना पड़ता है.


नुकसान- हैचबैक की तरह माइलेज नहीं मिलता, शहरों में भीड़-भाड़ के चलते पार्किंग के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ती है और एसयूवी की तुलना में साइज कम होता है.


एसयूवी


फायदे- एसयूवी का सबसे बड़ा फाइदा ये है, कि इसमें अच्छे साइज के चलते ये 6-7 लोग बड़े आराम से सफर कर सकते हैं. ये गाडियां लंबे सफर से लेकर ऊबड़ खाबड़ रस्तों तक के लिए बेस्ट होती हैं. यहां तक की इनसे इंटेरनेशनल ट्रिप भी की जा सकती है.


नुकसान- एसयूवी गाड़ियों का सबसे बड़ा नुकसान ये है, कि ये हैचबैक और सेडान की तुलना में बहुत ही कम माइलेज देती हैं और पोल्युशन के मामले में उन दोनों गाड़ियो से आगे है. जोकि पर्यावरण के लिए गंभीर खतरा बन चुका है.


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