Chinese apps Ban: चीन ने सुरक्षा और निजता की चिंता को लेकर 54 और चीनी ऐप पर पाबंदी लगाने के भारत के निर्णय की आलोचना की है. उसने कहा कि इस कदम से चीनी कंपनियों के वैध हितों को नुकसान पहुंचा है. उल्लेखनीय है कि भारत ने सोमवार को 54 और चीनी ऐप पर पाबंदी लगा दी. प्रतिबंध के दायरे में आए ऐप में टेंसेंट एक्सराइवर, नाइस वीडियो बायडू, वीवा वीडियो एडिटर और गेमिंग ऐप गेरेना फ्री फायर इल्युमिनेट शामिल हैं.


54 ऐप को हटाया
भारत में सूत्रों के मुताबिक, प्रतिबंधित किए गए 54 चीनी ऐप ने कथित तौर पर उपयोगकर्ताओं से अहम मंजूरियां हासिल कर उनसे संवेदनशील जानकारी प्राप्त की. ये ऐप उपयोगकर्ताओं से जुटाई गई जानकारी का दुरुपयोग कर रहे थे और उसे विरोधी देश में स्थित सर्वरों को भेज रहे थे. इस कदम पर अपनी प्रतिक्रिया में चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने भारत से अपने कारोबारी माहौल में सुधार करने और चीनी कंपनियों सहित सभी विदेशी निवेशकों के साथ निष्पक्ष, पारदर्शी तथा गैर-भेदभावपूर्ण व्यवहार करने का आग्रह किया.


चीन ने जताई चिंता
वाणिज्य मंत्रालय के प्रवक्ता गाओ फेंग ने कहा कि संबंधित भारतीय अधिकारियों ने भारत में चीनी कंपनियों और उनके उत्पादों को दबाने के लिए कई उपाय किए हैं. इससे उनके वैध अधिकारों और हितों को गंभीर रूप से नुकसान पहुंचा है. मीडिया ने प्रवक्ता के हवाले से कहा, ‘‘चीन ने इस बारे में गंभीर चिंता जतायी है.’’


2020 में 270 ऐप पर लगाई पाबंदी
बता दें कि इससे पहले साल 2020 में भी सुरक्षा को खतरा मानते हुए कुल 270 ऐप्स पर प्रतिबंध लगाए गए थे. वहीं अब इस साल यानी 2022 में यह पहली बार है जब सरकार द्वारा ऐप्स पर बैन लगाए जा रहे हैं. इन ऐप्स को आईटी कानून की धारा 69ए के तहत प्रतिबंधित किया गया है.  साल 2020 में ऐप्स को बैन करने की यह कार्रवाई 20 भारतीय सैनिकों और चीन के साथ सीमा तनाव के बीच पूर्वी लद्दाख की गालवान घाटी में हिंसक झड़पों के दौरान अनिर्दिष्ट संख्या में चीनी सैनिकों के मारे जाने के बाद की गई थी. 


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