India Real Estate Market: नहीं बिक रहे 50 लाख रुपये तक के अफोर्डेबल होम्स? फिर भी तीसरी तिमाही में रिकॉर्ड घरों की बिक्री
Affordable Housing Market: घरों की कीमतों में तेज उछाल, होम लोन की महंगी ब्याज दरों के चलते 50 लाख रुपये कम कीमत वाल घरों की डिमांड में कमी आई है.
India Real Estate Market: लग्जरी और महंगे घरों की सेल्स और डिमांड में तेजी के चलते साल 2024 की तीसरी तिमाही जुलाई से सितंबर के दौरान रिकॉर्ड 87,108 घरों की बिक्री हुई है जो 5 फीसदी ज्यादा है. मौजूदा वर्ष के किसी भी तिमाही में सबसे ज्यादा ये सेल्स का आंकड़ा है. 2024 के पहले नौ महीनों में कुल 2,60,349 हाउसिंग यूनिट्स की सेल्स हो चुकी है जो कि 2023 के पहले नौ महीनों के मुकाबले 9 फीसदी ज्यादा है. जबकि सबसे ज्यादा घरों की कीमतें बेंगलुरु बढ़ी है. बेंगलुरू में घरों की कीमतों में 10 फीसदी का उछाल देखने को मिला है. हैदराबाद और मुंबई में 6 फीसदी कीमतें बढ़ी है.
1 करोड़ रुपये से ऊपर के घरों की सेल्स ज्यादा
नाईट फ्रैंक इंडिया (Knight Frank India) जुलाई से सितंबर तिमाही के लिए ऑफिस और रेसिडेंशियल मार्केट को लेकर रिपोर्ट जारी किया है. इस रिपोर्ट के मुताबिक 1 करोड़ रुपये से ज्यादा कीमत वाले घरों की डिमांड सबसे ज्यादा देखी जा रही है. कुल रेसिडेंशियल यूनिट्स के सेल्स में 46 फीसदी हिस्सेदारी 1 करोड़ रुपये या उससे कीमत वाले घरों का है. तीसरी तिमाही में इस कैटगरी के कुल 40,328 यूनिट्स बिके है जो कि साल दर साल 41 फीसदी ज्यादा है.
50 लाख से 1 करोड़ रुपये के बीच के कीमत वाले घरों की सेल्स की हिस्सेदारी कुल सेल्स में 30 फीसदी है और इस अवधि में 26,011 यूनिट्स बिकी है. जबकि 50 लाख रुपये से कम कीमत वाले घरों की सेल्स की हिस्सेदारी 24 फीसदी है और 2024 की तीसरी तिमाही में 50 लाख रुपये से कम कीमत वाले 20,769 हाउसिंग यूनिट्स की सेल्स रही है. नाईट फ्रैंक इंडिया ने बताया कि जुलाई से सितंबर तिमाही के दौरान 90,479 हाउसिंग यूनिट्स की लॉन्चिंग हुई है जो कि साल दर साल 6 फीसदी ज्यादा है.
घट रही अफोर्डेबल घरों की सेल्स
रिपोर्ट के मुताबिक 50 लाख रुपये या उससे कम कीमत वाले घरों की सेल्स 14 फीसदी की गिरावट के साथ 20,769 यूनिट्स रही है जो 2023 की तीसरी तिमाही में 23,026 यूनिट्स रही थी. इसकी मुख्य वजह घरों की कीमतों में उछाल, होम लोन की महंगी ब्याज दरें, डिमांड में कमी के अलावा कोरोना महामारी का विपरीत असर इस सेगमेंट पर बरकरार है जिसके चलते सेल्स में कमी आई है. मुंबई और कोलकाता का ही केवल रेसिडेंशियल मार्केट हैं जिसमें इस सेगमेंट में सेल्स में उछाल देखने को मिला है. नाईट फ्रैंक इंडिया के मुताबिक घरों की कीमतों में बढ़ोतरी के चलते इस प्राइस सेगमेंट के होमबायर्स को बाजार से दूर रखे हुए है तो इस सेगमेंट में सप्लाई में कमी के चलते भी सेल्स वॉल्यूम कम है.
बनी रहेगी महंगे घरों की डिमांड में तेजी
नाईट फ्रैंक इंडिया के चेयरमैन शिशिर बैजल ने कहा, रेसिडेंशियल सेक्टर के शानदार प्रदर्शन के चलते रियल एस्टेट मार्केट के लिए ये अवधि शानदार रहा है. 1 करोड़ रुपये से ज्यादा कीमत के सेगमेंट वाले घरों के चलते सेल्स में जोरदार बढ़ोतरी देखने को मिली है. उन्होंने बताया, दिल्ली एनसीआर ही ऐसा मार्केट है जिसमें गिरावट रही है. लेकिन पिछली 13 तिमाही से 1 करोड़ रुपये से ज्यादा कीमत वाले घरों की सेल्स में लगातार तेजी देखने को मिली है. शिशिर बैजल के मुताबिक स्थिर इकोनॉमिक आउटलुक और ब्याज दरों में कटौती की संभावना के चलते हमारा मानना है कि डिमांड में तेजी बनी रह सकती है.
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