ग्लोबल टेक कंपनियों के बाद अब निवेशकों को लुभा रहे हैं विदेशी फंड, जानें कैसे निवेश कर रहे हैं म्यूचुअल फंड इनवेस्टर
वर्ल्ड क्लास कंपनियों तक पहुंच, नई टेक्नोलॉजी और ज्योग्राफिकल डाइवर्सिफिकेशन की वजह से निवेशकों ने अब इंटरनेशनल फंड्स में निवेश करना शुरू कर दिया है.
ग्लोबल टेक कंपनियों के शेयर में रुझान के बाद भारतीय निवेशकों की दिलचस्पी अंतरराष्ट्रीय म्यूचुअल फंड्स में बढ़ रही है. म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री के ताजा आंकड़ों के मुताबिक उन स्कीमों के फोलियो में तीन गुना बढ़ोतरी हुई है जो विदेशी फंडों में निवेश करते हैं. अक्टूबर, 2019 में ऐसे फोलियो की संख्या 1.44 लाख थी लेकिन इस साल अक्टूबर में ये बढ़ कर 4.40 लाख हो गए हैं. इस दौरान इनका एयूएम (Asset under Managment) बढ़ कर 2470 करोड़ रुपये से 6,482 करोड़ रुपये हो गया है.
फोर्टफोलियो डाइवर्सिफिकेशन का ट्रेंड बढ़ा
हालांकि यह एयूएम कुल इक्विटी म्यूचुअल फंड का छोटा हिस्सा है लेकिन फाइनेंशियल प्लानर्स का कहना है कि निवेशक अपने फोर्टफोलियो के डाइवर्सिफिकेशन के लिए विदेशी फंडों में निवेश कर रहे हैं. वर्ल्ड क्लास कंपनियों तक पहुंच, नई टेक्नोलॉजी और ज्योग्राफिकल डाइवर्सिफिकेशन की वजह से निवेशकों ने अब इंटरनेशनल फंड्स में निवेश करना शुरू कर दिया है.
गेमिंग, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स, न्यूज एनर्जी कंपनियों में मौके
फंड मैनेजरों का कहना है कि गेमिंग, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स, न्यूज एनर्जी और कोविड वैक्सीन कंपनियों के फंड में काफी उम्मीदें हैं. भातीय निवेशकों को घरेलू बाजार में ऐसी कंपनियां उपलब्ध नहीं है. इसलिए वे इन सेक्टरों में काम करने वाली विदेशी कंपनियों के फंड में पैसा लगा रहे हैं. ऐसी कई फंड हैं जो भारतीय निवेशकों को निवेश का मौका उपलब्ध करा रहे हैं. फ्रैंकलिन यूएस ऑपर्यूचनिटीज फंड, एक्सिस ग्लोबल इक्विटी अल्फा फंड, पीजीआईएम इंडिया ग्लोबल फंड ऑफ फंड, पीजीआईएम ग्लोबल इक्विटी ऑपर्यूनिटीज फंड, मोतीलाल ओसवाल एसएंडपी 500 इंडेक्स फंड, आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल यूएस ब्लूचिप फंड ऐसे ही फंड हैं. इनमें एकमुश्त और एसपीआई दोनों जरियों से भारतीय निवेशक निवेश कर रहे हैं.
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