Air India को DGCA की मिली मंजूरी, अब एक पायलट उड़ा सकेगा दो अलग-अलग तरह के विमान
Air India: एयर इंडिया की लंबे समय से लंबित मांग को डीजीसीए की मंजूरी मिल गई है. अब एक पायलट दो अलग-अलग तरह के विमान उड़ा सकेंगे.
Air India Pilots: एयर इंडिया की लंबे समय से लंबित मांग को डीजीसीए की मंजूरी मिल गई है. अब एयर इंडिया के एक पायलट को दो अलग-अलग तरह के विमान उड़ाने अनुमति दे दी गई है. DGCA की ओर से दी गई अनुमति के मुताबिक बोइंग 777 और 787 विमानों को एक ही पायलट उड़ा सकता है.
एयर इंडिया की ओर से इससे पहले बोइंग 777 और 787 विमानों के संचालन के लिए केवल आठ पायलटों को प्रशिक्षण दिया जाता था, जिसमें 777 के संचालन के लिए चार और 787 उड़ाने के लिए के चार पायलटों शामिल थे. हालांकि डारेक्टर जनरल ऑफ सिविल एविएशन ने अब मल्टी-सीट फ्लाइंग (MSF) को मंजूरी दे दी है, जिसका मोटे तौर पर मतलब है कि एक ही पायलट दो तरह के विमान उड़ा सकता है, जिसके लिए ट्रेनिंग प्रक्रिया को थोड़ा कठिन किया जाएगा.
पायलटों के लिए होगी राहत
डीजीसीए के इस मंजूरी से पायलटों की मदद होगी. पायलटों का क्रॉस यूज मददगार होगा. साथ ही घरेलू और इंटरनेशनल उड़ानों के लिए भी सहायता मिलेगी. वर्तमान में, एयर इंडिया में लगभग 700 वाइड बॉडी पायलट हैं.
डीजीसीए का फैसला
विमानन नियामक ने एयर इंडिया का कहा है कि आठ नामित पायलटों में से सभी के पास बोइंग 777 और 787 के संचालन के मामले में कम से कम 10 लैंडिंग के साथ 150 घंटे की उड़ान होनी चाहिए. बता दें कि लगभग 16 देशों में एयरलाइंस द्वारा पायलटों के क्रॉस यूटिलाइजेशन का पालन किया जा रहा है.
एयर इंडिया की प्लानिंग
टाटा समूह के स्वामित्व वाली एयर इंडिया के पास लगभग 1,825 पायलट हैं और आने वाले समय में और ज्यादा पायलटों को काम पर रखने वाली है, क्योंकि एयरलाइन अपने बेडे का विस्तार कर रही है. पिछले महीने एयर इंडिया ने एयरबस और बोइंग को 470 विमानों का ऑर्डर दिया था, जिसमें 70 चौड़े आकार के विमान भी शामिल थे.
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