कहीं आप भी तो अभी तक नहीं दे रहे रेस्तरां में सर्विस चार्ज
क्या आप जानते हैं कुछ लोग सर्विस चार्ज के साथ ही बिल की पूरी पेमेंट कर देते हैं. जबकि सर्विस चार्ज देने पर प्रतिबंध है.
नई दिल्लीः अक्सर लोग रेस्तरां में खाने पीने जाते हैं, जहां वे बिल की पेमेंट करते हुए अक्सर लापरवाही बरतते हैं लेकिन क्या आप जानते हैं कुछ लोग सर्विस चार्ज के साथ ही बिल की पूरी पेमेंट कर देते हैं. जबकि सर्विस चार्ज देने पर प्रतिबंध है. चलिए जानते हैं क्या है पूरा मामला.
होटल और रेस्तरां में बिल पर सर्विस चार्ज को बिल्कुल खत्म कर दिया गया है लेकिन फिर भी उपभोक्ता मंत्रालय के निर्देशों को नज़रअंदाज करते हुए कुछ रेस्तरां ग्राहकों से कुल बिल पर 10 से 20% तक सर्विस चार्ज वसूल रहे हैं. बहुत कम ग्राहक होते हैं जो बिल पर लगे सर्विस टैक्स पर ध्यान देते हैं या इसके खिलाफ आवाज उठाते हैं लेकिन जो लोग इसके खिलाफ बोलते हैं तो रेस्तरां में उस वक्त बिल माफ कर दिया जाता है जबकि कुछ इसे माफ करने से साफ इंकार कर देते हैं. इतना ही नहीं, कुछ रेस्तरां में हर जगह लिखा होता है कि आपको सर्विस टैक्स देना होगा जबकि कानूनी तौर पर ये गलत है.
पिछले कुछ समय से दिल्ली में हॉटेल और रेस्तरां में इसकी शिकायतें बढ़ गई हैं. इसी को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने ग्राहकों की लगातार बढ़ती शिकायतों को ध्यान में रखते हुए दिल्ली के तकरीबन 57 होटलों और रेस्तरां से जवाब मांगा है. हालांकि इनमें से सिर्फ 7 रेस्तरां ऐसे हैं जिन्होंने अपनी गलती स्वीकार करते हुए ग्राहकों का पैसा वापिस लौटाया है. जबकि कुछके ने कहा कि मेन्यू पर हमने साफ लिखा है कि सर्विस चार्ज देना होगा.
वहीं डिपार्टमेंट ऑफ कंज्यूमर अफेयर्स के एक अधिकारी का कहना है कि मंत्रालय इस मामले में पहले ही एडवाइजरी जारी कर चुका है कि सर्विस चार्ज के लिए कोई भी होटल या रेस्तरां ग्राहक को इसके भुगतान के लिए बाध्य नहीं कर सकता. जो ग्राहक सर्विस चार्ज देना चाहते हैं वो वेटर्स को टिप के तौर पर ही सर्विस चार्ज देते हैं. यदि टिप की रकम को रेस्तरां के मालिक ने वेटर्स के देख-रेख में खर्च नहीं किया तो रेस्तरां के मालिक की इनकम टैक्स की जांच हो सकती है और उस पर कार्यवाही हो सकती है. एक सर्वे में भी पाया गया था कि 12 फीसदी ग्राहक सर्विस चार्ज देते पर आवाज उठाते हैं. आपको बता दें, जीएसटी आने के बाद सर्विस चार्ज को खत्म कर दिया गया था, जो कि वैट के साथ लगता था.