'हम क्यों भु्गतें?' बेंगलुरु में 50 परसेंट तक बढ़ा मेट्रो का किराया, इंफोसिस के पूर्व CFO ने सरकार को घेरा
Bengaluru Metro Fare Hike: BMRCL ने किराया निर्धारण समिति की सिफारिश पर शनिवार को मेट्रो रेल का किराया 50 परसेंट तक बढ़ा दिया. इसे लेकर मोहनदास पई ने सरकार को घेरा है.

Bengaluru Metro Fare Hike: कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरू में अब मेट्रो से सफर करना महंगा पड़ेगा क्योंकि बेंगलुरु मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (BMRCL) ने 9 फरवरी से मेट्रो का किराया 50 परसेंट तक बढ़ाने का फैसला किया है. यहां अब टिकट की अधिकतम कीमत 90 रुपये होगी, जो अब तक 60 रुपये थी. हालांकि, स्मार्ट कार्ड यूजर्स को किराए में 5 परसेंट तक छूट का लाभ मिलेगा.
मोहनदास पई ने साधा कर्नाटक सरकार पर निशाना
इसे लेकर इंफोसिस के पूर्व सीएफओ मोहनदास पई ने कर्नाटक सरकार की आलोचना की है. उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, ''कर्नाटक की सरकार ने मेट्रो प्रोजेक्ट के साथ ही गड़बड़ी कर दी है. खराब प्रबंधन के चलते इसमें देरी हुई है. उन्हें रीपेमेंट के कॉस्ट का भार उठाना चाहिए, न कि जनता को धोखा देना चाहिए.''
''आम आदमी क्यों भुगतें?''
दरअसल, उन्होंने एक पोस्ट पर जवाब देते हुए यह बात कही, जिसमें शशि बैंगलोर के नाम से एक यूजर ने लिखा था, ''ग्रीन और पर्पल लाइन पर 20 ट्रेनें कम चल रही हैं. रेवेन्यू में हुए नुकसान के लिए कौन जिम्मेदार है? व्हाइटफील्ड एक्सटेंशन का काम 2020 तक पूरा हो जाना चाहिए था, लेकिन 2024 में भी यह पूरी तरह से ओपन नहीं हुआ. रेवेन्यू लॉस के लिए कौन जिम्मेदार है? हम क्यों भुगतें?''
अपने इस पोस्ट के जरिए मोहनदास पई ने कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार से उचित कदम उठाने का आग्रह करते हुए पूछा, ''क्या हमारे मंत्री डीके शिवकुमार कोई कदम उठाकर बेंगलुरुवासियों की रक्षा करेंगे?''
Government of Karnataka has messed up the Metro project,delayed throughout due to bad management. They should bear the cost of repayment, not fob off on citizens here. As per @CMofKarnataka @siddaramaiah it is ok to spend 56000 cr of tax payers monies for freebies but not ok to… https://t.co/pjc31zK0mK
— Mohandas Pai (@TVMohandasPai) February 12, 2025
BMRCL ने रखा अपना पक्ष
BMRCL ने कीमत हुई बढ़ोतरी पर अपना पक्ष रखते हुए कहा है कि छह साल से भी लंबा वक्त हो गया है जब आखिरीबार किराया बढ़ाया गया था. किराया निर्धारण समिति ने 16 दिसंबर 2024 को प्रस्तुत एक रिपोर्ट में इस बदलाव की सिफारिश की थी. बढ़ती लागत और 10,422 करोड़ रुपये के लोन के भुगतान को किराए में हुए इजाफे के कारण के रूप में दिखाया गया.
ये भी पढ़ें:
New Income Tax: नए इनकम टैक्स बिल में क्या है नया और आम आदमी को कैसे मिलेगा इसका फायदा?
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
