Bank Crisis 2023: अमेरिका के सिलिकॉन वैली बैंक के दिवालिया होने से शुरू हुआ बैंकिंग संकट अब धीरे-धीरे पूरी दुनिया की बैंकिंग व्यवस्था (Banking System) को अपनी चपेट में ले रहा है. सिलिकॉन वैली बैंक (Silicon Valley Bank) के डूबने के बाद अमेरिका के सिग्नेचर बैंक (Signature Bank), स्विट्जरलैंड के क्रेडिट सुइस बैंक (Credit Suisse Bank) भी संकट में घिरते नजर आए हैं. अब यह बैंकिंग संकट जर्मनी तक पहुंचता नजर आ रहा है. जर्मनी का सबसे बड़ा बैंक डॉएश बैंक (Deutsche Bank) की आर्थिक हालत भी खराब हो गई है.
8 फीसदी तक शेयरों में दर्ज की गई गिरावट
गौरतलब है कि शुक्रवार को डॉएश बैंक के स्टॉक प्राइस में करीब 8 फीसदी की बड़ी गिरावट दर्ज की गई है. निवेशकों के बीच बैंकिंग व्यवस्था लेकर अनिश्चितता का माहौल है. ऐसे में डॉएश बैंक के शेयरों में शुक्रवार को जबरदस्त बिकवाली देखने को मिली है. वहीं पिछले एक महीने में जर्मनी के सबसे बड़े बैंक के शेयरों में 24 फीसदी की भारी गिरावट देखने को मिली है. The Spectator Index के मुताबिक जर्मनी के इस बैंक के पास कुल 1.4 ट्रिलियन डॉलर की कुल संपत्ति है. वहीं बैंक को साल 2022 में कुल 6 बिलियन डॉलर का मुनाफा हुआ था.
क्यों टूट रहे बैंक के शेयर्स?
डॉएश बैंक के शेयरों में शुक्रवार को 15 फीसदी से ज्यादा की गिरावट दर्ज की गई थी. इसके बाद शेयरों में कुछ सुधार हुआ और यह कुल 8 फीसदी की गिरावट के साथ 8.54 यूरो पर बंद हुए. ध्यान देने वाली बात ये है कि बैंक के शेयरों में गिरावट केवल वैश्विक बैंकों पर भारी दबाव के कारण नहीं है बल्कि साल 2020 के मुकाबले बैंक की क्रेडिट-डिफॉल्ट स्वैप बीमा की लागत में कई गुना तक का इजाफा हुआ है. ऐसे में बैंक के शेयरधारकों अविश्वास पैदा हो गया है और शेयरों में बिकवाली तेज हो गई है. क्रेडिट-डिफॉल्ट स्वैप बीमा एक तरह का इंश्योरेंस है जो बैंक किसी कंपनी या ब्रांड को डिफॉल्ट के एवज में देती है.
डॉएश बैंक है जर्मनी का सबसे बड़ा बैंक
डॉएश बैंक के संकट की खबरों के बीच जर्मनी के चांसलर ओलाफ स्कोल्ज (Germany Chancellor Olaf Scholz) ने कहा है कि यूरोप का बैंकिंग सिस्टम पूरी तरह से सुरक्षित है और निवेशकों को घबराने की जरूरत नहीं है. दरअसल, डॉएश बैंक जर्मनी का सबसे बड़ा बैंक है. इसकी देश की अर्थव्यवस्था में अहम भूमिका है. यह जर्मनी के साथ ही कई देशों में भी काम करता है. डॉएश बैंक को दुनिया के सबसे सुरक्षित बैंकों में से एक माना जाता है. यह बैंक आमतौर पर सबसे ज्यादा कॉरपोरेट कर्ज देता है. बैंक की कुल संपत्ति 1.4 ट्रिलियन डॉलर आंकी गई है. ऐसे में अगर इस बैंक पर किसी तरह के संकट आता है तो यह पूरे यूरोप को अपनी चपेट में ले सकता है
बैंकिंग सेक्टर पर छाए मुसीबत के बादल
जर्मनी के डॉएश बैंक के संकट में आने से पहले अमेरिका के सिलिकॉन वैली बैंक और सिग्नेचर बैंक के डूबने की खबर से पूरे बैंकिंग सेक्टर में हड़कंप मच गया था. अमेरिका से शुरू हुआ यह बैंकिंग संकट फिर यूरोप पहुंच गया जब स्विट्जरलैंड के क्रेडिट सुइस बैंक के डूबने की खबर आई. इसके बाद से दुनिया भर के बैंकों पर ग्राहकों और निवेशकों का विश्वास कम हुआ है.
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