Ultratech-Star Cement Deal: अडानी समूह के उत्तर पूर्वी राज्य में सीमेंट कंपनियों के अधिग्रहण करने के प्रयासों को बड़ा झटका लगा है. जिस कंपनी पर अडानी समूह की नजर थी उस कंपनी ने सीमेंट कारोबार में अडानी समूह के सबसे बड़े प्रतिद्वंदी आदित्य बिरला समूह ग्रुप की अल्ट्राटेक सीमेंट को ही कंपनी में हिस्सेदारी बेच दी है. अल्ट्राटेक सीमेंट लिमिटेड ने एलान किया है कि वो स्टार सीमेंट लिमिटेड में 851 करोड़ रुपये में 8.69 फीसदी नॉन-कंट्रोलिंग माइनॉरिटी स्टेक खरीदने जा रही है.
अल्ट्राटेक सीमेंट के बोर्ड ने दी सौदे को मंजूरी
अल्ट्राटेक सीमेंट ने स्टॉक एक्सचेंजों के पास फाइल किए गए रेगुलेटरी फाइलिंग में बताया कि स्टार सीमेंट लिमिटेड के कुछ प्रमोटर और प्रमोटर ग्रुप इकाई ने स्टार सीमेंट में हिस्सेदारी बेचने के लिए कंपनी से संपर्क किया है. कंपनी के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की आज बैठक हुई जिसमें स्टार सीमेंट के प्रस्ताव पर चर्चा हुई और बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स ने नॉन-माइनॉरिटी स्टेक के तौर पर 235 रुपये में 3.70 करोड़ इक्विटी शेयर्स खरीदने पर मुहर लगा दी है.
851 करोड़ रुपये कै भुगतान कैश में
डिस्क्लोजर में अल्ट्राटेक सीमेंट ने बताया कि एक महीने में स्टार सीमेंट में हिस्सेदारी खरीदने की प्रक्रिया को पूरा कर लिया जाएगा और इस डील के लिए 851 करोड़ रुपये का भुगतान कैश में किया जाएगा. पिछले तीन सालों में स्टार सीमेंट के टर्नओवर पर नजर डालें तो वित्त वर्ष 2021-22 में 2221.81 करोड़ रुपये, वित्त वर्ष 2022-23 में 2704.84 करोड़ रुपये और 2023-24 में 2910.66 करोड़ रुपये टर्नओवर रहा था. इस डील के बाद स्टार सीमेंट का स्टॉक 2.55 फीसदी के उछाल के साथ 235.60 रुपये पर कारोबार कर रहा है. जबकि अल्ट्राटेक सीमेंट का स्टॉक गिरावट के साथ कारोबार कर रहा है.
अल्ट्राटेक ने दिया झटका!
इससे पहले इस महीने के पहले हफ्ते में ये खबर आई थी कि अडानी समूह उत्तर पूर्वी राज्य में सीमेंट कंपनी के अधिग्रहण करने की तैयारी में है. और समूह की सीमेंट कंपनी अंबुजा सीमेंट (Ambuja Cement) की स्टार सीमेंट (Star Cement) के साथ अधिग्रहण को लेकर बातचीत भी चल रही है. इस खबर के चलते स्टार सीमेंट के स्टॉक में तेज उछाल देखने को मिला था. मनीकंट्रोल ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि अडानी समूह ने कंसलटेंसी फर्म EY को ट्रांजैक्शन की समीक्षा करने के लिए नियुक्त किया है. उत्तर-पूर्वी राज्यों में स्टार सीमेंट का मार्केट शेयर सबसे ज्यादा है. कंपनी का प्रोडेक्शन कैपेसिटी प्रति वर्ष 7.7 मिलियन टन है जिसे कंपनी ने 2030 तक बढ़ाकर 30 मिलियन टन करने का लक्ष्य रखा है. लेकिन जिस डील पर अडानी समूह की नजर थी वो फिलहाल हाथ से निकलती हुई नजर आ रही है.
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