Assembly Polls Results: पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में से तीन में भारतीय जनता पार्टी सरकार बनाने जा रही है. पार्टी के नेताओं का दावा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चेहरे और उनकी गारंटी के चलते जनता ने बीजेपी के पक्ष में बढ़ चढ़कर मतदान किया जिससे बीजेपी के हाथों में सत्ता की चाबी आई है. पर इस जीत के साथ ही केंद्र में सत्ता की अगुवाई कर रही बीजेपी के सामने सबसे बड़ी चुनौती खड़ी होने जा रही है. और ये चुनौती है उन चुनावी वादों को पूरा करना जो पार्टी ने सत्ता हासिल करने के लिए जनता से किए हैं.
बीजेपी जिन योजनाओं, वादों के दम पर तीन राज्यों में सत्ता हासिल करने में कामयाब हुई उन वादों को पूरा करना इतना आसान नहीं रहने वाला है क्योंकि इसमें काफी विरोधाभास है. खासतौर से सस्ते में रसोई गैस सिलेंडर मुहैया कराने का वादा और प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत दिए जाने वाले रकम में दोगुनी बढ़ोतरी करने का वादा. दरअसल ये दोनों ही केंद्र सरकार की योजना है और केंद्र में भी बीजेपी की अगुवाई वाली ही सरकार है. फिलहाल केंद्र सरकार प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के लाभार्थियों को 600 रुपये में सिलेंडर उपलब्ध करा रही है. तो प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना के तहत तीन किस्तों में किसानों को सालाना 6,000 रुपये की सहायता राशि दे रही है.
लेकिन राजस्थान में बीजेपी ने पीएम उज्जवला योजना के लाभार्थियों को 450 रुपये में सिलेंडर देने का वादा किया है. मध्य प्रदेश में भी बीजेपी ने अपने घोषणापत्र में 450 रुपये में सिलेंडर देने का वादा कर सत्ता में आई है. जबकि छत्तीसगढ़ में 500 रुपये में उपलब्ध कराएगी. ऐसे में सवाल उठता है कि क्या राजस्थान और मध्य प्रदेश के उज्जवला योजना के लाभार्थियों को 450 रुपये और देश के दूसरे राज्यों के लाभार्थियों को 150 रुपये ज्यादा 600 रुपये सिलेंडर रिफिल कराने पर चुकाने होंगे?
कुछ ऐसी ही स्थिति प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के साथ भी है. मोदी सरकार किसानों को सालाना 6,000 रुपये योजना के तहत दे रही है. जबकि राजस्थान और मध्य प्रदेश में बीजेपी ने रकम को बढ़ाकर 12,000 रुपये सालाना करने का वादा किया है. अब सवाल उठता है कि क्या केवल इन दोनों राज्यों के किसानों को ही 12,000 रुपये सालाना मिलेगा या पूरे देश के किसानों को?
जाहिर है राजस्थान और मध्य प्रदेश और दूसरे राज्यों के लाभार्थियों के बीच भेदभाव किया गया तो सत्ताधारी पार्टी के खिलाफ लोगों की नाराजगी बढ़ सकती है. ऐसे में सवाल उठता है कि क्या मोदी सरकार प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना की रकम को मौजूदा 6,000 रुपये से बढ़ाकर पूरे देश के लाभार्थी किसानों के लिए 12,000 रुपये करेगी? साथ ही क्या उज्जवला योजना के लाभार्थियों के लिए रसोई गैस सिलेंडर की कीमत में 150 रुपये की और कमी की जाएगी जिससे पूरे देश के लाभार्थियों को फायदा मिल सके? ऐसे में इन चुनावी वादों को लेकर बीजेपी की सिरदर्दी बढ़ने वाली है. वैसे इस बात की उम्मीद की जा रही है कि एक फरवरी 2024 को पेश होने वाले अंतरिम बजट में इस बाबत घोषणाएं की जा सकती है.
बीजेपी ने राजस्थान में इन दोनों वादे के अलावा अगले 5 सालों में 2.5 लाख युवाओं को सरकारी नौकरी, 12वीं की परीक्षा पास करने वाली छात्रा को स्कूटी भी देने का वादा किया है. साथ ही गरीब परिवार की बेटियों को केजी से पीजी तक मुफ्त में शिक्षा उपलब्ध कराई जाएगी. मध्य प्रदेश में चुनावों में जीत दिलाने वाली लाडली बहना योजना के तहत दी जाने वाली रकम को मौजूदा 1250 रुपये से बढ़ाकर हर महीने 3,000 रुपये करने का वादा किया गया है. तो छत्तीसगढ़ में महतारी वंदन स्कीम के तहत शादीशुदा महिलाओं को सालाना 12,000 रुपये की मदद दी जाएगी. इसके अलावा दीनदयाल उपाध्याय कृषि मजदूर योजना के तहत किसानों को 10,000 रुपये सालाना सरकार बनने पर वादा किया गया है. पार्टी ने एक लाख सरकारी नौकरी देने का भी वादा किया है.
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