Business Startup Classroom: लीडरशिप में ये गलतियां बिजनेस डूबा देती हैं, बचें इनसे
Business Startup Classroom: एक लीडर अपने आप में चलता फिरता इंस्टिट्यूट होता है, जिससे हर वक्त लोग सीखते रहते हैं तो आपको अपने अंदर ऐसी ऊर्जा लानी होगी जो इस जिम्मेदारी के लिए जरूरी हो.
Business Startup Classroom: लीडरशिप एक ऐसी स्किल है, जो हर कोई चाहता है कि उसके अन्दर हो, कुछ लोग जन्मजात लीडर होते हैं, उनमे वो हर क्वालिटी होती है जो उन्हें लोगों और बिजनेस के करीब लाती हैं, वही कुछ लोग इसे मेहनत और लगन से अपने अन्दर बिल्ड करते हैं.
लीडरशिप स्किल्स भी बाकी स्किल्स जैसी ही बहुत महत्वपूर्ण है, एक फाउंडर इसके बिना कुछ बड़ा बिल्ड नहीं कर सकता है, बहुत लोगों की टेक्निकल स्किल्स तो बहुत अच्छी होती है लेकिन, ह्यूमन रेसौर्स, क्राइसिस मैनेजमेंट, या रिस्क टेकिंग एबिलिटी नहीं होने के कारण, एक सफल बिजनेस बनाने से चूक जाते हैं. चलिए आज के इस आर्टिकल में कुछ उन गलतियों की बात करते हैं, जो फाउंडर्स अमूमन करते हैं.
1- अपना ईगो साइड में रखिये, क्योंकि आप सब कुछ नहीं जानते हैं
हम जब कुछ लोगों को हायर करते हैं तो उनके काबिलियत पर करते हैं, यानी जाहिर सी बात है कि वो उस काम से हमसे बेहतर समझते हैं और जानते हैं, लेकिन कई बार "मुझे सब आता है" Attitude लोगों को वो माहौल नहीं दे पाता है, जहाँ वो काम कर सकें. अक्सर फाउंडर्स उन्हें अपने हिसाब से समझाने और कराने में उनका टेलेंट मिस कर देते हैं.
Steve Jobs कहते हैं - 'It doesn't make sense to hire smart people and then tell them what to do, we hire smart people so they can tell us what to do.
याद रखिये, आपको अपने लोगों से कॉम्पिटिशन नहीं करना है बल्कि उन्हें मोटीवेट करके संस्था के लिए बेहतर काम करवाना है.
2- जरुरत से ज्यादा ओवर थिंकिंग
जी हां, किसी भी काम में विचार करना जरूरी है, लेकिन जरुरत से ज्यादा विचार करना, उस काम में रोड़े ही अटकाती है या सही फैसले नहीं लेने देती. स्टार्टअप दुनिया ही जल्दी और सही फैसले पर टिकी है, अगर आप लोगों से तेज और तेजी से फैसले नहीं लेते हैं तो फिसलते रह जायेंगे और वहां जाकर गिरेंगे जहां से बिजनेस बंद करना ही आखिरी पड़ाव होगा. अपने फैसले लेने के टाइम और आउटकम पर ध्यान दीजिये, अगर आपको लगता है कि आप तेजी से फैसले नहीं ले पाते हैं तो, अपने मेंटर की सहायता लीजिये. लेकिन देर से किये गए फैसले से बचिए.
3- विनम्रता, सहजता और सहानुभूति का ना होना
एक सही लीडर वही है, जो जुड़ना और जोड़े रखना जानता हो, आपका व्यवहार ऐसा होना चाहिए जिससे की आप लोगों की पसंद बन सकें, लोग आप से बिना झिझके अपनी बात रख सकें. मैंने कई फाउंडर्स को देखा है कि वो गुस्से में लोगों को जॉब छोड़ देने के लिए बोल देते हैं या बात बात पर रिजाइन की बात करते हैं, ध्यान रखिये आपका काम रिजाइन करवाना नहीं है, अगर आपका एम्प्लॉई ऑफिस में डरा सहमा है तो वो कभी वो काम नहीं कर पायेगा, जिसकी आप उम्मीद करते हैं, मैंने डरे और सहमे लोगों में क्रिएटिविटी नहीं देखी है कभी. हां वो आपके ऑफिस में बैठकर दूसरी नौकरी ढूढने का काम जरुर कर सकते हैं लेकिन वो काम नहीं करेंगे जो आप उम्मीद करते हैं. तो आप लोगों में इन्वेस्ट करिए, लोग आपकी कंपनी में करेंगे.
4- जोश, जूनून, जिम्मेदारी और जवाबदेही का ना होना
एक लीडर अपने आप में चलता फिरता इंस्टिट्यूट होता है, जिससे हर वक्त लोग सीखते रहते हैं, ध्यान रखिये, लोग आपके तरफ देखते हैं, आप जैसी एनर्जी ऑफिस में लेकर आयेंगे वही एनर्जी पूरे ऑफिस की बन जाएगी. और इसके लिए आप ही जिम्मेदार हैं, बहुत बार लोगों को ग़लतफ़हमी हो जाती है कि मै तो बॉस हूं, मुझसे ऊपर कोई नहीं है तो मुझे जवाबदेह होने की जरुरत नहीं है, जी नहीं, एक लीडर की जवाबदेही सबसे ज्यादा उससे खुद की होनी चाहिए. जब आप अपने लिए जवाबदेह नहीं होंगे आप ये कल्चर अपने ऑफिस में नहीं ला सकते हैं.
ध्यान रखिये, आप हर बात के लिए जिम्मेदार हैं, तो चलते फिरते, पॉजिटिविटी और जोश बिखरते रहिये.
नोटः लेखक Skilling You के संस्थापक और सीईओ हैं, प्रकाशित विचार उनके निजी हैं.
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