Campus IPO Update: आने वाले दिनों में कई कंपनियां आईपीओ (IPO Update) लेकर आने वाली हैं. अगर आपका भी बाजार में पैसा लगाने का प्लान है तो उससे पहले जान लें कि कौन से आईपीओ में पैसा लगाना आपके लिए सही रहेगा. स्पोर्ट्स और अन्य प्रकार के फुटवियर बनाने वाली कंपनी कैंपस एक्टिववियर (Campus Activewear) का आईपीओ भी अगले महीने तक शेयर बाजार में लिस्ट हो सकता है. 


कंपनी अपने नेटवर्क का करेगी विस्तार
कंपनी का प्लान देश के पश्चिमी एवं दक्षिणी राज्यों में भी नेटवर्क बढ़ाकर अपनी स्थिति मजबूत करने की है. कैंपस एक्टिववियर के मुख्य वित्त अधिकारी (CFO) रमन चावला ने पीटीआई-भाषा के साथ बातचीत में कंपनी की विस्तार योजनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि कंपनी की ऊंचे मार्जिन वाले महिला और बच्चों के सेगमेंट में नए प्रोडक्ट लाने का भी प्लान बना रही है.


ऑनलाइन सेल बढ़ाने पर भी दिया जाएगा ध्यान
अपने विस्तार के लिए कंपनी आउटलेट का नेटवर्क मजबूत करने के साथ ही ऑनलाइन बिक्री बढ़ाने पर भी जोर देगी. उन्होंने कहा, ‘‘कैंपस सीधे ग्राहकों तक पहुंचने का तरीका अपनाती रहेगी. इसमें महिलाओं एवं बच्चों के लिए नए उत्पाद लाने पर खास जोर रहेगा.’’


अभी देशभर में हैं 100 दुकानें
उन्होंने कहा कि कंपनी का सेल्स नेटवर्क बढ़ाने के लिए नए कर्मचारियों की नियुक्ति की भी योजना है. कैंपस की फिलहाल देशभर में करीब 100 दुकानें हैं. इनमें से 65 स्टोर का स्वामित्व कंपनी के पास है और बाकी फ्रेंचाइजी मॉडल पर आधारित हैं.


बाजार में है करीब 17 फीसदी हिस्सेदारी
वित्त वर्ष 2020-21 के बिक्री आंकड़ों के आधार पर कैंपस का ब्रांडेड स्पोर्ट्स फुटवियर उद्योग में करीब 17 फीसदी बाजार हिस्सेदारी का दावा है. इस बीच, बाजार से जुड़े एक सूत्र ने कहा कि कैंपस का मई में शेयर बाजार में लिस्ट होने का भी इरादा है. कंपनी ने पिछले साल ही भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (SEBI) के पास आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) के लिए आवेदन दाखिल किया था.


5.1 करोड़ शेयर्स की होगी बिक्री
डॉक्युमेंट्स के मुताबिक, कैंपस आईपीओ के तहत 5.1 करोड़ शेयरों की बिक्री पेशकश (OFS) लाएगी. उसके मौजूदा प्रवर्तक हरिकृष्ण अग्रवाल और निखिल अग्रवाल के अलावा टीपीजी ग्रोथ-3 एसएफ प्राइवेट लिमिटेड एवं क्यूआरजी एंटरप्राइजेज जैसे निवेशक भी अपने पास रखे शेयरों की बिक्री करेंगे.


कितनी है हिस्सेदारी
फिलहाल कैंपस में उसके प्रवर्तकों की 78.21 फीसदी हिस्सेदारी है जबकि टीपीजी ग्रोथ एवं क्यूआरजी के पास क्रमशः 17.19 फीसदी एवं 3.86 फीसदी हिस्सेदारी है और बाकी 0.74 फीसदी हिस्सेदारी व्यक्तिगत शेयरधारकों एवं कर्मचारियों के पास है.


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