Car Insurance: भारत में बारिश का सीजन चल रहा है और मानसून की झमाझम बरसात देश के ज्यादातर इलाकों को कवर कर चुकी है. उत्तर से लेकर दक्षिण तक तो पूर्व से लेकर पश्चिम तक भारत के कई राज्यों में जलभराव की खबरें आ रही हैं. कई दिनों से लगातार वीडियोज और फोटो सामने आ रहे हैं जिनमें कभी तो मोटरसाइकिल बह गई है या गाड़ी पानी में डूब गई है. ऐसे में अगर आपके पास गाड़ी है और आपके मन में सवाल है कि क्या बारिश-बाढ़ के दौरान पानी में बही गाड़ी या मोटरसाइकिल पर कितना बीमा का पैसा मिलेगा तो इसकी जानकारी यहां ले सकते हैं.


कौनसी तरह का ऑटो इंश्योरेंस कवर करेगा आपका नुकसान?


जो मोटर बीमा व्यापक कवरेज या कॉम्प्रिहेंसिव कवरेज वाले होते हैं उनमें ही प्राकृतिक आपदा से हुए नुकसान को कवर करने का ऑप्शन होता है. कॉन्प्रिहेंसिव कवर में भी नैचुरल क्लेमिटीज के जरिए होने वाला कवर ऑप्शनल होता है तो आपको इसे लेने से पहले अच्छी तरह डॉक्यूमेंट देख लेने चाहिए. व्यापक या कॉन्प्रिहेंसिव इंश्योरेंस पॉलिसी बाढ़, आग, भूकंप, साइक्लोन जैसी प्राकृतिक आपदा के अलावा मानव निर्मित आपदा और एक्सीडेंट के लिए भी व्यापक कवर प्रदान करती है. याद रखें कि थर्ड पार्टी कार बीमा पॉलिसी बाढ़ या पानी में डूबने जैसे डैमेज का कवर नहीं देती है.


कॉन्प्रिहेंसिव कार इंश्योरेंस पॉलिसी की कुछ शर्तें


कॉन्प्रिहेंसिव कार इंश्योरेंस पॉलिसी बाढ़ या पानी में डूबने से हुए नुकसान को कवर करती है लेकिन इंजन की कंडीशन खराब होने से जुड़ी शर्तो को जानना जरूरी है. कॉन्प्रिहेंसिव कार इंश्योरेंस पॉलिसी का कवरेज कार की उम्र पर भी निर्भर करता है क्योंकि इंश्योरेंस कंपनी डेप्रिसिएशन को कॉस्ट में शामिल करके चलती है. इसके अलावा रबड़ या प्लास्टिक के पार्ट्स के डैमेज सुधारने में लगी लागत का 50 फीसदी ही कवर होता है. 




बाढ़/जलभराव में कार को होने वाले संभावित नुकसान



  • इंजन डैमेजः बारिश के पानी में फंसने या बढ़ी हुई नदी में फंसने से इंजन में पानी चला जा सकता है और गाड़ी बंद हो सकती है.

  • गियरबॉक्स डैमेजः अगर गियरबॉक्स में पानी चला जाए तो ये यूनिट खराब हो सकती है.

  • इलेक्ट्रिक या इलेक्ट्रॉनिक डैमेजः गाड़ी में पानी जाने की सूरत में कार के इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स खराब हो सकते हैं. जैसे डैशबोर्ड पर वॉर्निंग सिग्नल देने वाली लाइट्स या स्पीडोमीटर या इंडीकेटर खराब हो सकते हैं.

  • कार में एसेसरीज या इंटरनल डैमेजः कार का कार्पेट, सीट्स, कुशन, इंटीरियर या सीट कवर जैसी चीजें इंटरनल डैमेज के तहत आएंगी.


इंजन प्रोटेक्शन कवर और जीरो डेप्रिसिएशन जैसे ऐड-ऑन लें


कॉन्प्रिहेंसिव इंश्योरेंस पॉलिसी के साथ इंजन प्रोटेक्शन कवर और जीरो डेप्रिसिएशन जैसे ऐड-ऑन ले लिए जाएं तो बारिश के दौरान अगर इंजन में पानी चला गया हो तो वो भी कवर हो सकता है. वर्ना ऐसी स्थिति में इंजन की मरम्मत का खर्च 1 लाख रुपये तक का हो सकता है.


डूबने या बहने की सूरत में मोटर बीमा क्लेम करने के स्टेप्स



  1. तुरंत इंश्योरेंस प्रोवाइडर को सूचित करें, कार कंपनी को भी बताएं. ऑनलाइन या ऑफलाइन जो भी मोड सबसे तेज हो-उसे अपनाएं.

  2. कार डूबने या बहने पर उसके डैमेज के सबूत इकट्ठा करें जैसे वीडियो बनाएं या फोटो लें.

  3. सारे डॉक्यूमेंट जैसे कार का रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट (RC), कार के मालिक-ड्राइवर का ड्राइविंग लाइसेंस (DL), पॉलिसी डॉक्यमेंट की सॉफ्ट कॉपी और गाड़ी के डैमेज के सबूत वाले फोटो-वीडियो या पेपर आदि एकत्रित कर लें.




पानी में वाहन डूब जाने पर तुरंत क्या एक्शन लें?


कार पानी में फंस जाए और बंद हो जाए तो इंजन/इग्नीशन को चालू ना करें. धक्का देकर स्टार्ट करने की कोशिश से भी बचें. ऐसा करने पर इंजन में पानी जाने और खराब होने का डर रहता है. 


कार की बैटरी को अलग कर लें जिससे इलेक्ट्रिक पार्ट्स और कंपोनेंट्स तक पानी ना जाए.


कार के ब्रेक चेक करें क्योंकि कई बार पानी में फंसने पर ब्रेक डिस्क, ब्रेक पैड या ब्रेक लाइन में भी पानी चला जाता है और ब्रेक खराब हो सकते हैं या डैमेज हो सकते हैं.


ज्यादा पानी वाली जगहों पर रहने वालों के लिए गाड़ी के सेफ्टी टिप्स



  • अपनी कार ऊंची जगह पर पार्क करें बरसात के दौरान बेसमेंट जैसी जगहों पर पार्किंग करने से बचें.

  • कार विंडो अच्छी तरह से बंद हैं या नहीं, हमेशा चेक करें जिससे पानी की एक बूंद भी जाने की गुंजाइश नहीं बचे.

  • संभव हो तो बैटरी डिस्कनेक्ट करें ताकि अगर बोनट के अंदर पानी चला भी जाए तो इंजन बे के रास्ते इलेक्ट्रिक कंपोनेंट को नुकसान ना पहुंचा पाए.


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