भारत समेत दुनियाभर में स्टार्टअप अभी फंडिंग की समस्या (Startups Funding Winter) से जूझ रहे हैं. इस बीच भारत में स्टार्टअप को इस मोर्चे पर अच्छी खबर मिली है. सीबीडीटी (CBDT) ने 21 ऐसे देशों की सूची जारी की है, जहां से स्टार्टअप में आने वाले निवेश पर एंजल टैक्स (Startup Angel Tax) नहीं लगेगा.


ऐसे स्टार्टअप में निवेश पर छूट


सेंट्रल बोर्ड ऑफ डाइरेक्ट टैक्सेज (Central Board Of Direct Taxes) यानी सीबीडीटी ने जिन 21 देशों को यह छूट दी है, उनमें अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस जैसे देश शामिल हैं. इन देशों से भारतीय स्टार्टअप में आने वाले नॉन-रेजिडेंट इन्वेस्टमेंट पर एंजल टैक्स नहीं लगेगा. यह छूट वैसी स्टार्टअप कंपनियों में निवेश पर मिलेगा, जो अभी शेयर बाजारों में लिस्टेड नहीं हैं. सिंगापुर, नीदरलैंड और मॉरीशस जैसे देशों को इस छूट से बाहर रखा गया है.


बजट में किया गया था प्रस्ताव


वित्त मंत्री निर्मला सीतारामन (FM Nirmala Sitharaman) ने फरवरी में बजट पेश करते हुए गैर-सूचीबद्ध कंपनियों में विदेशी निवेश को एंजल टैक्स के दायरे में लाने का प्रस्ताव रखा था. सीबीडीटी ने इस संबंध में 24 मई को वैसे इन्वेस्टर्स के बारे में अधिसूचना जारी की, जो एंजल टैक्स से जुड़े प्रावधानों के दायरे में नहीं आएंगे. इससे पहले बजट के प्रस्ताव में डीपीआईआईटी (DPIIT) से मान्यता प्राप्त स्टार्टअप में निवेश को एंजल टैक्स के दायरे से बाहर रखा गया था.


इन्हें मिलेगा छूट का लाभ


अब जिन निवेशकों को एंजल टैक्स से छूट मिली है, उनमें सेबी के पास कैटेगरी-1 एफपीआई, एंडोमेंट फंड, पेंशन फंड और ब्रॉड बेस्ड पूल्ड इन्वेस्टमेंट व्हीकल्स के रूप में रजिस्टर्ड इन्वेस्टर्स शामिल हैं. नोटिफिकेशन के अनुसार, यह छूट अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस के अलावा ऑस्ट्रेलिया, जर्मनी, स्पेन, ऑस्ट्रिया, कनाडा, चेक रिपब्लिक, बेल्जियम, डेनमार्क, फिनलैंड, इजरायल, इटली, आइसलैंड, जापान, दक्षिण कोरिया, रूस, नॉर्वे, न्यूजीलैंड और स्वीडन शामिल हैं.


1 अप्रैल से ही लागू हुआ बदलाव


सीबीडीटी का यह नोटिफिकेशन 1 अप्रैल 2023 से प्रभावी हो गया है. इसका मतलब हुआ कि नोटिफिकेशन जारी होने से पहले के वैसे इन्वेस्टमेंट को भी यह छूट मिलेगी, जो 1 अप्रैल 2023 के बाद आए हैं. हालांकि विशेषज्ञ इस बात पर हैरानी जाहिर कर रहे हैं कि सिंगापुर, आयरलैंड, नीदरलैंड और मॉरीशस जैसे देशों को इस नोटिफिकेशन में जगह नहीं मिली है, जहां से भारत को एफडीआई (FDI) का बड़ा हिस्सा मिलता आया है.


सीबीडीटी ने एंजल टैक्स से छूट को लेकर यह नोटिफिकेशन ऐसे समय जारी किया है, जब दुनिया भर के स्टार्टअप फंडिंग में कमी की समस्या से जूझ रहे हैं, जिसे फंडिंग विंटर के नाम से जाना जा रहा है.


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