Pulse Prices: चुनावी मौसम में महंगी दाल से उड़ी नींद, सरकार ने लिया स्टॉक का जायजा
Pulse Inflation: खुदरा महंगाई में भले ही कमी आई हो और रेट 5 फीसदी से नीचे आ गई हो, लेकिन खाने-पीने की चीजों खासकर दालों की महंगाई सरकार को परेशान कर रही है...
चुनावी सीजन में विभिन्न दालों की बढ़ती कीमतें सरकार को परेशान कर रही है. इसके चलते सरकार लगातार दालों की कीमतों को नियंत्रित करने की कवायद कर रही है. अब उपभोक्ता मामलों के सचिव ने इस संबंध में विभिन्न पक्षों के साथ बैठक कर भंडार और उपलब्धता का जायजा लिया है.
उपभोक्ता मंत्रालय ने दिया बयान
मिनिस्ट्री ऑफ कंज्युमर अफेयर्स, फूड एंड पब्लिक डिस्ट्रिब्यूशन ने शनिवार को जारी एक आधिकारिक बयान में बताया कि दाल व्यापारियों समेत विभिन्न संबंधित पक्षों के साथ मिलकर उपलब्धता का जायजा लिया गया है. इसके लिए उपभोक्ता मामलों की सचिव निधि खरे ने दाल उद्योग के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की है.
पालन नहीं करने पर होगी कार्रवाई
इससे पहले केंद्र सरकार ने सभी राज्यों को निर्देश दिया गया था कि वे ट्रेडर्स के द्वारा विभिन्न दालों के भंडार का साप्ताहिक आधार पर खुलासा सुनिश्चित करें. केंद्र सरकार ने अरहर दाल, उड़द दाल, चना दाल, मसूर दाल और मूंग दाल के अलावा आयातित पीली मटर दाल के स्टॉक की निगरानी का निर्देश दिया था. ताजी बैठक उसी सिलसिले में हुई, जिसमें सचिव ने दाल उद्योग के प्रतिनिधियों को बताया कि निर्देशों का पालन नहीं करने वाले व्यापारियों के खिलाफ इसेंशियल कमॉडिटीज एक्ट के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
कंज्युमर अफेयर्स डिपार्टमेंट की सेक्रेटरी निधि खरे ने दालों की कीमतों पर लगाम लगाने के प्रयासों के तहत इसी सप्ताह राज्यों के प्रधान सचिवों व उपभोक्ता मामले के विभाग के सचिवों के साथ भी बैठक की थी. उन्होंने सभी राज्य सचिवों को स्टॉकहोल्डिंग एंटिटीज के द्वारा स्टॉक डिस्क्लोजर सुनिश्चित करने के लिए कहा था.
इतनी है दालों की महंगाई
दरअसल पिछले कुछ सप्ताह से विभिन्न दालों खासकर पीली मटर, अरहर और उड़द की दाल की कीमतों में तेजी देखी जा रही है. पिछले एक-डेढ़ महीने में इनकी कीमतों में 100 रुपये तक तेजी आई है. महंगाई के आंकड़ों में भी इसका पता चलता है. एक दिन पहले आए आंकड़ों के अनुसार, मार्च महीने में दालों की खुदरा महंगाई बढ़कर 18.99 फीसदी पर पहुंच गई. फरवरी महीने में दालों की थोक महंगाई बढ़कर 18.48 फीसदी पर पहुंच गई थी.
सचिव ने म्यामां स्थित भारतीय मिशन के साथ दालों के आयात को लेकर भी चर्चा की. चर्चा में म्यामां से आयात किए जा रहे आयात को लेकर संशोधित विनिमय दर के हिसाब से कीमतों के निर्धारण जैसे मुद्दे शामिल रहे.
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