Budget 2023-24: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 2023-24 वित्त वर्ष के लिए पेश होने वाले बजट को लेकर अलग अलग स्टेकहोल्डर्स के साथ प्री-बजट मीटिंग कर रही हैं. कोरोना महामारी के खत्म होने के बाद भी ये मीटिंग वर्चुअल तौर पर हो रही है. ट्रेड यूनियनों के साथ भी 28 नवंबर, 2022 को वर्चुअल बैठक होना वाली है जिसे लेकर देश के बड़े यूनियनों ने कड़ा विरोध प्रकट किया है. 


वित्त मंत्री को पत्र लिखकर जताया विरोध 
सेंट्रल ट्रेड यूनियनों की तरफ से वित्त मंत्री को पत्र लिखकर वर्चुअल तरीके से प्री-बजट मीटिंग किए जाने को लेकर नाखुशी जाहिर की गई है. पत्र में इन यूनियनों ने वित्त मंत्री से कहा है कि कोरोना से बंदिशों में पूरी तरीके से ढील दिए जाने के बावजूद वर्चुअल तरीके से ये बैठक बुलाई गई है. इन यूनियनों ने इस बात पर भी आपत्ति जाहिर की है कि प्री-बजट कसंलटेशन में 12 ट्रेड यूनियन हिस्सा ले रहे हैं इसके बावजूद केवल 75 मिनट बैठक के लिए समय तय किया गया है. पत्र में लिखा गया है कि श्रम मंत्रालय के मुताबिक देश में कुल 12 मजदूर संगठन हैं और अगर रिवाज के हिसाब से शुरुआती भाषण को इसमें जोड़ लिया जाए तो हर एक ट्रेड यूनियन को अपनी बात रखने के लिए 5 मिनट या उससे कम का समय दिया गया है. 


फिजिकल बैठक की मांग 
सेंट्रल ट्रेड यूनियनों से वित्त मंत्री से कहा कि श्रम संगठनों जैसे प्रमुख स्टेकहोल्डर्स के साथ जो समाज के सबसे प्रोडक्टिव वर्ग का प्रतिनिधित्व करते हैं, जो वास्तव में जीडीपी और अर्थव्यवस्था में सबसे बड़ा वैल्यू क्रिएट कर रहे हैं ऐसे में लोकतांत्रिक शासन प्रणाली में इस प्रकार बैठक करना कहां तक ये तर्कसंगत है. ऐसे में हम सरकार के रिवाज वाले दृष्टिकोण के खिलाफ अपना जोरदार विरोध प्रकट करते हैं. ट्रेड यूनियनों ने वित्त मंत्री से फैसले पर पुनर्विचार करते हुए आग्रह किया है कि ट्रेड यूनियनों के साथ बजट पूर्व बैठक में प्रभावी परामर्श के लिए उचित समय-आवंटन के साथ आमने सामने बैठकर बातचीत किया जाए.


केवल 75 मिनट होगी बैठक 
वित्त मंत्री को ये पत्र भारतीय मजदूर संघ को छोड़  इंटक (INTUC) एटक (AITUC) एचएमएस ( HMS) सीटू ( CITU ) समेत 10 संगठनों की तरफ से लिखा गया है. 28 नवंबर 2022 को ट्रेड यूनियनों के साथ प्री बजट बैठक सुबह 11 बजे से 12.15 बजे तक के लिए बुलाई गई है.


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