9 Karat Gold Jewellery Hallmarking: आजकल सोने के दाम आसमान छू रहे हैं. इस कारण 9 कैरेट, 14 कैरेट, 18 कैरेट की ज्वेलरी की डिमांड भी बढ़ रही है. ऐसे में अब जल्द ही देश में 9 कैरेट सोने (KT) के ज्वैलरी की हॉलमार्किंग को अनिवार्य किया जा सकता है. आजकल के वक्त में Gen Z's के बीच कम कैरेट की ज्वेलरी की बढ़ती डिमांड और चेन चोरी होने की घटनाओं को देखते हुए सरकार इस कदम को उठाने पर विचार कर रही है. गौरतलब है कि भारतीय मानक ब्यूरो (BIS) ने पहले ही 14 कैरेट, 18 कैरेट, 22 कैरेट, 23 कैरेट और 24 कैरेट की बनी ज्वेलरी पर हॉलमार्किंग को अनिवार्य कर दिया है. 2022 से ही यह नियम लागू हो चुके हैं.


भारत में बढ़ रही सोने की डिमांड


वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल की रिपोर्ट के अनुसार, भारत विश्व का दूसरे सबसे बड़ा उपभोक्ता देश है. आगे भी देश में ज्वेलरी की डिमांड बढ़ने वाली है. आगे आने वाले फेस्टिव सीजन और शादी के सीजन के कारण साल 2024 में सोने की डिमांड 750 टन तक पहुंचने की संभावना है. पिछले साल के मुकाबले 2024 की पहली छह महीने में देश में सोने की मांग में 1.5 फीसदी की तेजी दर्ज की गई है.


9 कैरेट ज्वैलरी का चलन तेजी से बढ़ा 


लाइव मिंट में छपी रिपोर्ट के मुताबिक, आगे आने वाले दिनों में भारतीय मानक ब्यूरो ज्वेलरी सभी स्टेकहोल्डर्स ने इस मामले पर बातचीत करके इसे अनिवार्य करने की तैयारी कर रहा है. मामले से अवगत व्यक्ति ने जानकारी दी है कि आगे आने वाले दिनों में 9 कैरेट सोने की शुद्धता का जांच करके जल्द ही शुद्धता का सर्टिफिकेट दिया जाएगा. बता दें कि सोने की बढ़ती कीमतों के कारण में देश में 9 कैरेट ज्वैलरी का चलन भी बढ़ रहा है. अगस्त 2024 में 10 ग्राम सोने की कीम 68,000 रुपये थी. वहीं 9 कैरेट सोने की कीमत 25,000 से लेकर 30,000 रुपये के बीच में थी.


GJEPC ने इस कदम का किया स्वागत 


सोने की निर्यात का परिषद GJEPC ने इस कदम का स्वागत करते हुए कहा है कि इससे ग्राहकों को सही सर्टिफिकेट वाला शुद्ध गोल्ड मिल सकेगा. ध्यान देने वाली बात ये है कि एक समय पर देश में 22 कैरेट गोल्ड की सबसे ज्यादा मांग थी जो बाद में 18 कैरेट हो गई. वहीं अब 14 कैरेट और 9 कैरेट गोल्ड ज्वेलरी की मांग में भी तेजी से इजाफा हो रहा है.


बढ़ रही सोने चोरी की घटनाएं


पिछले कुछ दशकों में सोने की कीमतों में जबरदस्त इजाफा देखने को मिला है. इस कारण सोना चोरी और लूटपाट की घटनाओं में भी इजाफा देखने को मिल रहा है. नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) की रिपोर्ट के मुताबिक, 2021 में चेन चोरी होने की देशभर में 7,000 घटनाएं दर्ज हुई थी. वहीं, 2022 में यह बढ़कर 9,278 पर पहुंच गई है. ऐसे में केवल एक साल में चेन चोरी होने की घटनाओं में 32.54 फीसदी का इजाफा दर्ज हुआ है.


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