Gold Investment: फेस्टिव सीजन का सबसे बड़ा त्योहार दिवाली (Diwali) अब बस कुछ ही दिनों दूर रह गई है. उससे पहले धनतेरस (Dhanteras) का पर्व भी मनाया जाएगा. धनतेरस पर सोने और चांदी की खरीदारी अत्यंत शुभ मानी जाती है. पिछले धनतेरस से लेकर इस साल तक सोने ने लंबी छलांग भरी है और निवेशकों की तिजोरियां भर दी हैं. सोने ने निवेशकों को करीब 30 फीसदी रिटर्न दे दिया है. इस साल भी सोना लगातार उछलता रहा है. सोने ने साल 2024 में इक्विटी को भी पीछे छोड़ दिया है. ऐसे में आइए समझ लेते हैं कि इस धनतेरस आपको सोने में निवेश करना चाहिए या नहीं.

  


पिछले साल धनतेरस पर 60,750 रुपये प्रति 10 ग्राम था सोना 


पिछले साल धनतेरस 10 नवंबर को था. उस दिन गोल्ड के रेट 60,750 रुपये प्रति 10 ग्राम थे. इस साल यह पीली धातु करीब 80 हजार रुपये के रेट पर आ गई है. उधर, अगर सेंसेक्स की तरफ नजर डालें तो यह पिछले 6 महीनों में सिर्फ 8 फीसदी ही बढ़ा है. पिछले साल वैश्विक तनावों, महंगाई और आर्थिक सुस्ती के बावजूद सोना लगातार आगे ही बढ़ता रहा. सोना हमेशा से निवेशकों की सबसे सुरक्षित पसंद बना हुआ है. दुनियाभर के केंद्रीय बैंकों ने भी पिछले साल से लगातार सोने की खरीदारी बढ़ाई है. अमेरिका में ब्याज दरें घटी हैं. इसके चलते सोने में निवेश बढ़ने का सही माहौल तैयार हो गया है. 


फेस्टिव सीजन के बाद वेडिंग सीजन के चलते और बढ़ेगी डिमांड 


इस साल धनतेरस की वजह से सोने की डिमांड में तेज इजाफा होता जा रहा है. इसके बाद आने वाले वेडिंग सीजन के चलते यह डिमांड और बढ़ेगी. बाजार में इन दिनों जारी उठापटक के चलते सोने की तरफ निवेशकों का जोर और बढ़ गया है. विशेषज्ञों के अनुसार, अभी भी निवेशकों के लिए सोने में निवेश का सही समय है. आगे भी सोने की खरीदारी बढ़ने के पूरे संकेत दुनिया से आ रहे हैं. इसकी कीमत थमने के संकेत अभी नजर नहीं आ रहे. निवेशक गोल्ड ईटीएफ (Gold ETF) में भी निवेश कर सकते हैं. निवेशक अपने पोर्टफोलियो में करीब 10 फीसदी हिस्सा गोल्ड के तौर पर रख सकते हैं.


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