Nirmala Sitharaman on Banks: वित्त मंत्री ने की अपनी सरकार की तारीफ, बैंकों की सेहत सुधरने का किया दावा
Nirmala Sitharaman on PSBs: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि उनकी सरकार की कोशिशों का नतीजा दिखने लगा है और सरकारी बैंक अच्छा मुनाफा हासिल कर रहे हैं. उन्होंने कई बैंकों का उदाहरण भी दिया है.
Nirmala Sitharaman on PSBs: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ( Nirmala Sitharaman) ने सरकारी बैंकों की सेहत अच्छी होने का दावा किया है. उन्होंने अपनी सरकार की तारीफ में ट्वीट के जरिए कहा है कि केंद्र सरकार की कोशिशों का नतीजा सरकारी बैंकों के अच्छे प्रदर्शन के रूप में सामने आ रहा है. निर्मला सीतारमण ने देश के कई सरकारी बैंकों जैसे स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, बैंक ऑफ बड़ौदा, यूको बैंक और केनरा बैंक के मुनाफे के आंकड़ों को भी शामिल किया है. बैंकों के नॉन परफॉर्मिंग ऐसेट्स के कम होने का उल्लेख भी वित्त मंत्री ने अपनी पोस्ट में किया है.
वित्त मंत्री के ट्वीट में क्या है
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ट्वीट के जरिए सरकारी बैंकों के अच्छे प्रदर्शन को दिखाया है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है कि सरकारी बैंकों के एनपीए को कम करने और PSBs की सेहत को और मजबूत करने के लिए हमारी सरकार के निरंतर प्रयास अब ठोस नतीजे दिखा रहे हैं. सभी 12 सरकारी बैंकों ने वित्त वर्ष 2023 की दूसरी तिमाही में 25,625 करोड़ रुपये का नेट प्रॉफिट दिखाया है और वित्त वर्ष 2023 की पहली छमाही में 40,991 करोड़ रुपये का मुनाफा हासिल किया है. ये साल दर साल आधार पर देखा जाए तो तिमाही नतीजों में 50 फीसदी की बढ़त है और छमाही आधार पर 31.6 फीसदी की बढ़त को दिखाता है.
वित्त मंत्री ने ट्वीट की श्रृंखला में आगे कहा है कि वित्त वर्ष 2023 की दूसरी तिमाही में साल दर साल आधार पर एसबीआई का मुनाफा 74 फीसदी बढ़कर 13,265 करोड़ रुपये हो गया है. केनरा बैंक ने मुनाफे में 89 फीसदी की उछाल हासिल करते हुए 2,525 करोड़ रुपये की बढ़त की है. इसके अलावा यूको बैंक के मुनाफे में 145 फीसदी का उछाल है और ये 504 करोड़ रुपये पर आया है. वहीं बैंक ऑफ बड़ौदा के मुनाफे में 58.70 फीसदी की बढ़त रही और ये 3,312.42 करोड़ रुपये पर आया है.
वित्त मंत्री ने राज्यों की भूमिका पर भी की थी बात
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने राजकोषीय मजबूती को 'आत्मनिर्भर भारत' के लिए एक अहम घटक बताते हुए शनिवार को कहा था कि कुछ राज्यों का गैर-जरूरी वस्तुओं के लिए अंधाधुंध उधार लेना और खर्च करना उनकी चिंता का विषय है. भारतीय विचार केंद्रम में आयोजित एक व्याख्यान कार्यक्रम में सीतारमण ने कहा कि केंद्र इस तरह उधार लेने के बारे में राज्यों से बात कर सकता है और उनसे सवाल कर सकता है लेकिन अनेक राज्य इसे अपने अधिकार क्षेत्र में दखल मानते हैं. उन्होंने केंद्र और राज्यों के बीच संबंधों को खराब करने के लिए गलत राजनीतिक विमर्श चलाए जाने का जिक्र करते हुए कहा कि संघीय संबंध सहयोग, सामूहिकता और समन्वय से चलता है.
हाल ही रुपये-डॉलर को लेकर दिया था बयान
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने हाल ही में अपने अमेरिका दौरे के दौरान डॉलर के मुकाबले रुपये ( Rupee) में लगातार गिरावट को लेकर एक बयान दिया जिसको लेकर उनकी आलोचना हुई थी. वित्त मंत्री ने कहा कि भारतीय करेंसी रुपया कमजोर नहीं हुआ बल्कि डॉलर मजबूत हुआ है. वित्त मंत्री अपने इस बयान को लेकर विपक्ष के निशाने पर तो आईं ही, सोशल मीडिया पर भी उनके बयान को लेकर खूब पोस्ट हुईं.
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