Flood Fire Rescue Plan: देश में उत्तर से दक्षिण तक बारिश ने कहर मचाया हुआ है और महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और गुजरात में हालात बेकाबू होते दिख रहे हैं. केंद्र सरकार ने भारत में प्राकृतिक आपदाओं जैसे बाढ़ के दौरान जान-माल को होने वाले बड़े नुकसान को रोकने के लिए कदम उठाया है. पिछले कुछ सालों में प्राकृतिक आपदाओं के अलावा आग या भूकंप जैसी आपदा के दौरान जान-माल को होने वाले बड़े नुकसान को रोकने के लिए जो कदम उठाए गए हैं, ये उन्हीं की एक और कड़ी है. जानिए किस राज्य को कितना फंड दिया गया है.
इन छह मेट्रो शहरों को मिलेंगे 2500 करोड़ रुपये
हाई लेवल कमिटी ने तेलंगाना, गुजरात, कर्नाटक, पश्चिम बंगाल और महाराष्ट्र के 6 मेट्रो शहरों को चुना है. ये हैं मुंबई, कोलकाता, बेंगलुरु, हैदराबाद, अहमदाबाद और पुणे... इनके लिए 6 प्रोजेक्ट के जरिए 2500 करोड़ रुपये से ज्यादा मंजूर किए गए हैं. इसके तहत शहरी बाढ़ प्रबंधन के लिए 2514.36 करोड़ रुपये की लागत वाली 6 परियोजनाओं को मंजूरी दी जा चुकी है.
असम, कर्नाटक और तमिलनाडु के लिए भी पैसा जारी किया जाएगा
हाई लेवल कमिटी ने असम, कर्नाटक और तमिलनाडु के लिए फायर सर्विसेज के एक्सपेंशन और मॉर्डनाइजेशन (अग्निशमन सेवाओं का विस्तार और आधुनिकीकरण) के लिए योजना के तहत 810.64 करोड़ रुपये के कुल खर्च वाले तीन प्रस्तावों को भी मंजूरी दी है. इसके अलावा 11 राज्यों के 1691.43 करोड़ रुपये के खर्च वाले प्रस्तावों को पहले ही मंजूरी दे दी गई थी.
हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश को क्या मिला
इसके साथ ही कमिटी ने हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश के लिए 150 करोड़ रुपये के कुल खर्च के लिए मंजूरी दी है. इन राज्यों में GLOF जोखिम शमन के लिए एक परियोजना प्रस्ताव को भी मंजूरी दी गई है. GLOF जोखिम शमन परियोजना इन चार राज्यों को GLOF जोखिमों से निपटने के लिए आवश्यक शमन उपाय करने में जरूरी प्रोत्साहन दिलाने में मदद करेगी.
पिछले हफ्ते के गुरुवार यानी 25 जुलाई को गृह मंत्रालय में बैठक हुई थी जिसमें केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में ये सभी फैसले लिए गए. इससे पहले बीते साल 27 नवंबर 2023 को हाई लेवल कमिटी ने तमिलनाडु राज्य के लिए चेन्नई में 561.29 करोड़ रुपये की लागत से बाढ़ प्रबंधन के लिए इंटीग्रेटेड सॉल्यूशंस वाले प्रोजेक्ट के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी थी.
इस साल स्टेट और नेशनल डिजास्टर रिस्पॉन्स फोर्स को मिला बड़ा फंड
- केन्द्र सरकार ने चालू वित्त वर्ष के दौरान 14 राज्यों को स्टेट डिजास्टर रिस्पॉन्स फोर्स (SDRF) के तहत 6348 करोड़ रुपये जारी किए हैं. इसे राज्य आपदा प्रतिक्रिया कोष के नाम से जानते हैं.
- स्टेट डिजास्टर मिटीगेशन फंड (SDMF) के तहत 6 राज्यों को 672 करोड़ रुपये जारी किए जा चुके हैं.
- इसके अलावा नेशनल डिजास्टर रिस्पॉन्स फोर्स (NDRF) के तहत 10 राज्यों को 4265 करोड़ रुपये की राशि जारी की जा चुकी है.
- केन्द्र सरकार ने इस योजना के लिए राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया कोष (NDRF) के तहत कुल 5000 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं.
हाई लेवल कमिटी के कुछ और फैसले
कमिटी ने एनडीआरएफ (NDRF) के लिए 470.50 करोड़ रुपये की लागत से युवा आपदा मित्र योजना (YAMS) के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी है. देश के 315 सबसे ज्यादा आपदा-संभावित जिलों में मास्टर ट्रेनर के रूप में 1300 ट्रेंड आपदा मित्र वॉलंटियर्स और खास तौर से भारत स्काउट्स एंड गाइड्स से लिए गए 2.37 लाख वॉलंटियर्स को तैनात किया जाएगा. इनमें मुख्य रूप से NCC, NSS, NYKS और BS&G के वॉलंटियर्स को आपदा तैयारी और रिस्पॉन्स में ट्रेनिंग देने के जरिए तैयार किया जाएगा.
एक लाख कम्यूनिटी वॉलंटियर्स को पहले ही मिल चुकी ट्रेनिंग
आपदा मित्र योजना के तहत देश के 350 सबसे ज्यादा आपदा-संभावित जिलों में डिजाजस्टर रिस्पॉन्स के लिए लगभग 1 लाख कम्यूनिटी वॉलंटियर्स को ट्रेनिंग दी जा चुकी है. बता दें कि आपदा मित्र योजना के तहत ये स्किल्ड और ट्रेंड 'आपदा मित्र' और 'आपदा सखियां' स्थानीय प्रशासन की मदद करने में बड़ी भूमिका निभा रहे हैं. किसी भी आपदा से निपटने के लिए लोकल जगह और कम्यूनिटी को first responders के तौर पर तैयार करने पर जोर दिया गया है. ये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विज़न के मुताबिक है जिसमें आपदा के दौरान समुदाय को भी तुरंत मदद करने की प्रेक्टिकल ट्रेनिंग दी जा रही है.
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