FMCG Prices: देश के एफएमसीजी सेक्टर की प्रमुख कंपनियों की तरफ से ऐसी जानकारी सामने आई है जो आपके लिए चिंता का सबब हो सकती है. एफएमसीजी यानी फास्ट मूविंग कंज्यूमर गुड्स प्रोडक्ट्स जैसे घर के साबुन, शैंपू, तेल, कॉफी, चॉकलेट या घर के अन्य सामान जैसे दालें-चावल, मसाले आदि भी इसी में आते हैं. अगर हम आपसे कहें कि निकट भविष्य में एफएमसीजी प्रोडक्ट्स के दाम बढ़ने वाले हैं तो जाहिर तौर पर इसके बाद आपके घर का बजट महंगा होने वाला है. 


एफएमसीजी सेक्टर की बड़ी कंपनियों ने बना लिया मन


देश की एफएमसीजी सेक्टर की बड़ी कंपनियों जैसे एचयूएल, गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (GCPL) और डाबर, नेस्ले वगैरह ने आने वाले समय में अपने प्रोडक्ट्स के दाम बढ़ाने का संकेत दिया है. इसके पीछे उन्होंने वजह बताई है कि शहरी इलाकों में इस समय मांग कम आ रही है जिसके चलते उनकी बिक्री घटी है और मुनाफे एवं मार्जिन पर असर देखा जा रहा है. इसकी वजह से प्रॉफिट मार्जिन बनाए रखने के लिए उन्हें दाम बढ़ाने पड़ेंगे और ये जल्द ही हो सकता है.


किन कंपनियों ने दिए स्पष्ट संकेत


एचयूएल, जीसीपीएल, मैरिको, आईटीसी, टाटा कंज्यमूर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (TCPL) ने शहरी मांग घटने के बाद अब संकेत दिए हैं कि कुछ उत्पादों के दाम बढ़ाए जा सकते हैं. इसके तहत नेस्ले ने भी साफ रूप से कहा है कि वो कॉफी-कोको जैसे प्रोडक्ट्स के दाम बढ़ने के कारण अपने प्रोडक्ट्स की कीमतें बढ़ाने पर मजबूर हो सकती है. एचयूएल ने भी इस बात पर चिंता जताते हुए एफएमसीजी उत्पादों के दाम हल्के रूप से बढ़ाने की संभावना से इंकार नहीं किया है.


शहरी मांग का FMCG बिक्री में बड़ा हिस्सा


दरअसल एफएमसीजी कंपनियों की कुल बिक्री में शहरी डिमांड का हिस्सा 65-68 फीसदी के बीच रहता है. अगर किसी वजह से इसमें गिरावट आती है तो साफ तौर पर इसका असर एफएमसीजी प्रोडक्ट्स पर देखने को मिल सकता है. जुलाई-सितंबर तिमाही में ऊंची खाद्य महंगाई दर और गिरती मांग का संयुक्त असर इन कंपनियों पर देखने को मिला और इसका असर कीमतें बढ़ने के तौर पर देखा जा सकता है.


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