Fraud Case Reported: 3 महीनों में अनऑथराइज्ड बैंकिंग ट्रांजेक्शन की 28,269 शिकायतें दर्ज, सरकार ने दी जानकारी
ग्राहकों को धोखाधड़ी वाले लेनदेन के कारण होने वाले नुकसान की वसूली में मदद करने के लिए, RBI ने अनधिकृत इलेक्ट्रॉनिक बैंकिंग लेनदेन के मामलों में ग्राहकों की देयता को सीमित करने के निर्देश जारी किए हैं.
Fraud Case Increased: बैंकों को अनऑथराइज्ड लेनदेन, बिना कार्ड के उपयोग या विवरण के खाते में डेबिट और चोरी या क्लोन कार्ड के उपयोग से संबंधित कुल 28,269 शिकायतें मिली हैं. आरबीआई के अनुसार, ये शिकायतें तत्कालीन बैंकिंग लोकपाल योजना, 2006 और रिजर्व बैंक-एकीकृत लोकपाल योजना के तहत 1 अप्रैल, 2021 से 30 जून, 2022 की अवधि के दौरान प्राप्त हुई हैं, जिनमें से 26,930 शिकायतों का निपटारा किया गया है.
सरकार ने इस बात की जानकारी संसद में दी
सरकार ने इस बात की जानकारी दी है. मंगलवार को संसद के एक जवाब में कहा गया कि ग्राहकों को धोखाधड़ी वाले लेनदेन के कारण होने वाले नुकसान की वसूली में मदद करने के लिए, आरबीआई ने अनधिकृत इलेक्ट्रॉनिक बैंकिंग लेनदेन के मामलों में ग्राहकों की देयता को सीमित करने के निर्देश जारी किए हैं.
बैंक कर रहे हैं त्वरित समाधान
जवाब के अनुसार, ऐसे मामलों में जहां न तो बैंक के पास और न ही ग्राहक के साथ बल्कि सिस्टम में कहीं और ही कमी है, तो ग्राहक की देयता शून्य है, यदि वह बैंक को अनधिकृत इलेक्ट्रॉनिक लेनदेन के संबंध में सूचना तीन कार्य दिवसों के भीतर देता है.
ग्राहकों को भी दिखानी चाहिए जागरुकता-जल्द करनी चाहिए मामलों की रिपोर्ट
ग्राहक की देनदारी 5,000 रुपये से लेकर 25,000 रुपये तक होती है, यदि 4-7 कार्य दिवसों के भीतर रिपोर्ट की जाती है, और यदि सात कार्य दिवसों के बाद रिपोर्ट की जाती है, तो यह बैंक की बोर्ड द्वारा अनुमोदित नीति के अनुसार निर्धारित किया जाएगा. इसके अलावा, ऐसे मामलों में जहां ग्राहक द्वारा लापरवाही के कारण नुकसान होता है, अनधिकृत लेनदेन की रिपोर्टिंग के बाद होने वाली किसी भी हानि का वहन बैंक द्वारा किया जाएगा.
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