अमेरिकी शॉर्ट सेलर कंपनी हिंडनबर्ग (Hindenburg Adani Report) की रिपोर्ट के बाद मुश्किल समय में अडानी के शेयरों पर भरोसा दिखाने वाले इन्वेस्टर जीक्यूजी पार्टनर्स (GQG Partners) ने एक बार फिर से निवेश बढ़ाने का ऐलान किया है. चंद महीनों के भीतर अडानी समूह के शेयरों में जीक्यूजी पार्टनर्स का यह तीसरा मोटा निवेश है. विदेशी इन्वेस्टमेंट फर्म ने अडानी समूह के शेयरों (Adani Group Stocks) में इस बार करीब 500 मिलियन डॉलर का निवेश किया है.


मार्च में किया था पहला निवेश


ब्लूमबर्ग की एक ताजी रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय मूल के निवेशक राजीव जैन (Rajiv Jain) की ऑस्ट्रेलिया में लिस्टेड कंपनी जीक्यूजी पार्टनर्स ने अडानी समूह की कंपनियों में इस बार 330 मिलियन डॉलर से 530 मिलियन डॉलर का निवेश किया है. इससे पहले जीक्यूजी पार्टनर्स ने मार्च की शुरुआत में अडानी समूह की कंपनियों में 1.87 बिलियन डॉलर यानी 15,446 करोड़ रुपये का निवेश किया था. अब जीक्यूजी पार्टनर्स ने करीब 4,400 करोड़ रुपये के शेयरों की खरीदारी की है. हालांकि जीक्यूजी पार्टनर्स ने यह नहीं बताया है कि उसने इन शेयरों को ओपन मार्केट से खरीदा है या किसी अन्य तरीके से.


अडानी के शेयरों में कुल इतना निवेश


जीक्यूजी पार्टनर्स के चेयरमैन, मुख्य निवेश अधिकारी एवं पोर्टफोलियो प्रबंधक राजीव जैन ने ब्लूमबर्ग से बताया, अडानी की सभी कंपनियों में हमारी पूरी शेयरहोल्डिंग 3 मार्च की तुलना में ज्यादा है. एक दर्जन से ज्यादा अलग-अलग खाते से 2.2 से 2.4 बिलियन डॉलर के करीब का कुल निवेश किया गया है. हमारे पास अलग-अलग खाते में ये शेयर हैं.


अडानी के शेयर बनेंगे मल्टीबैगर


राजीव जैन इससे पहले पिछले महीने ब्लूमबर्ग को दिए एक इंटरव्यू में कहा था कि अडानी समूह के शेयर अगले पांच साल में मल्टीबैगर साबित हो सकते हैं. इसी भरोसे के दम पर उन्होंने अडानी समूह के शेयरों में हाल ही में करीब 2 बिलियन डॉलर का निवेश किया है. जैन को लगता है कि अडानी के शेयरों की वैल्यू उसके एसेट्स में है. बकौल राजीव जैन, भारत को अपनी बुनियादी संरचना बेहतर बनाने और विनिर्माताओं को चीन से आकर्षित करने के लिए अडानी जैसे कारोबारियों की जरूरत है.


सिर्फ अडानी फैमिली से पीछे रहने का लक्ष्य


जीक्यूजी पार्टनर्स ने मार्च की शुरुआत में अडानी समूह के 04 शेयरों अडानी एंटरप्राइजेज (Adani Enterprises), अडानी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकोनॉमिक जोन (Adani Ports and Special Economic Zone), अडानी ग्रीन एनर्जी (Adani Green Energy) और अडानी ट्रांसमिशन (Adani Transmission) में 15,446 करोड़ रुपये लगाए थे. यह अडानी समूह के शेयरों में अब तक के सबसे बड़े निवेश में से एक है. जैन ने अडानी के शेयरों में निवेश बढ़ाने का बार-बार संकेत दिया है. उन्होंने कहा था कि उनका लक्ष्य अडानी समूह की कंपनियों में प्रवर्तकों के बाद सबसे बड़ा शेयरधारक बनने का है.


100 दिनों में हुई ऐसी तगड़ी कमाई


अडानी समूह के शेयरों में किए गए शुरुआती निवेश से जीक्यूजी पार्टनर्स को जबरदस्त फायदा भी हुआ है. समूह ने 2 मार्च को अडानी एंटरप्राइजेज में 5,460 करोड़ रुपये, अडानी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकोनॉमिक जोन में 5,282 करोड़ रुपये, अडानी ग्रीन एनर्जी में 2,806 करोड़ रुपये और अडानी ट्रांसमिशन में 1,898 करोड़ रुपये का निवेश किया था. अडानी के शेयरों में जीक्यूजी के निवेश की वैल्यू तब से 58 फीसदी बढ़कर 24,414 करोड़ रुपये से ज्यादा हो चुकी है. मतलब जीक्यूजी ने अडानी के शेयरों से महज 100 दिनों में करीब 10 हजार करोड़ रुपये की कमाई कर ली है.


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