नई दिल्लीः देश की विकास दर में बड़ी गिरावट दर्ज की गई है. अप्रैल-जून 2017 में देश की विकास दर गिरकर 5.7 फीसदी पर आ गई है जबकि इससे पिछले साल की अप्रैल-जून तिमाही में जीडीपी 7.9 फीसदी रही थी. इस तरह साल दर साल आधार पर देखें तो जीडीपी में भारी गिरावट दर्ज की गई है. 





जहां पिछले साल की अप्रैल-जून तिमाही में जीडीपी 8 फीसदी के नजदीक रही थी वहीं इस साल की अप्रैल-जून तिमाही में जीडीपी 6 फीसदी से भी नीचे आ गई है. मैन्यूफैक्चरिंग सेक्टर में बड़ी गिरावट ने विकास दर को नीचे खींचने का काम किया है. हालांकि अप्रैल-जून के दौरान सर्विसेज सेक्टर की विकास दर ठीक रही है.


इंडस्ट्री से आई निराशानजक खबर (जुलाई 2017 के आंकड़े)


वहीं इंडस्ट्री के मोर्चे से बुरी खबर आ रही है. देश के 8 मुख्य कोर सेक्टर की विकास दर जुलाई में गिरकर 2.4 फीसदी हो गई है. एक साल पहले जुलाई 2016 में इन्हीं 8 कोर सेक्टर्स की विकास दर 3.1 फीसदी रही थी. अर्थव्यवस्था के 8 बुनियादी उद्योगों की वृद्धि दर जुलाई में घटकर 2.4 फीसदी रही जो पिछले साल जुलाई में 3.1 फीसदी रही थी.


कांग्रेस का आरोप है कि नोटबंदी की वजह से देश की विकास दर में गिरावट दर्ज की गई है. गौरतलब है कि कल ही आरबीआई ने नोटबंदी के आंकडों में बताया था कि बंद किए गए नोटों में से करीब 99 फीसदी नोट वापस आ गए हैं.



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