New Income Act Provision: कंपनियां ( Companies) अच्छा बिजनेस देने वाले डीलर्स ( Dealers) और डिस्ट्रीब्यूटर्स ( Distributors) को विदेश या देश में टूअर ( Tour) कराने या जंकेट (Junket) पर लेकर जाते हैं. लेकिन कंपनियों के पैसे पर विदेश या फिर देश में टूअर (Tour) और जंकेट ( Junket) पर जाने वाले लोगों को टैक्स चुकाना पड़ेगा. इतना ही नहीं कंपनियों से कॉम्लिमेंट्री गिफ्ट ( Complimentry Gifts) लेने पर भी टैक्स ( Tax) चुकाना होगा.
दरअसल इस वर्ष 2022-23 में पेश किए बजट में इनकम टैक्स कानून ( Income Tax Act) में सेक्शन 194R डाला गया है जिसके तहत इन सुविधाओं को टैक्स के दायरे में लाया गया है जिसपर टीडीएस ( Tax Deducted At Source) का भुगतान करना होगा. हालांकि इस नए प्रावधान से जुड़े सभी डिटेल्स आने वाले दिनों में इनकम टैक्स विभाग संसद से फाइनैंस बिल के पास होने के बाद जारी करेगा.
डीलरों को टूअर या जंकेट पर घुमाने या गिफ्ट देने पर कंपनियां इन बेनेफिट्स पर 10 फीसदी टीडीएस काटती हैं लेकिन अब लाभार्थियों को भी टैक्स चुकाना होगा. जिन इनकम ब्रैकेट में वे आते हैं उसके हिसाब से उनको टैक्स का भुगतान करना होगा.
माना जा रहा है कि टैक्स कानून में इस नए प्रावधान का मकसद ये है कि जो लोग इस प्रकार के बेनेफिट्स हासिल करते हैं उससे जो उनको आय होता उसपर टैक्स विभाग अपनी नजर रख सके. उपभोक्ता से जुड़े सेक्टर्स में कंपनियां अपने टॉप परफार्मिंग डीलरों डिस्ट्रीब्यूटर्स को ऐसे बेनेफिट्स प्रदान किया करती हैं.
बताया जा रहा है कि एक ऑटोमोबाइल कंपनी ने अपने डिस्ट्रीब्यूटर्स को 160 करोड़ रुपये बेनेफिट्स प्रदान किए लेकिन लाभार्थियों ने अपने आयकर रिटर्न में इन बेनेफिट्स को नहीं दिखाया. जबकि कंपनियां इन बेनेफिट्स पर हुए खर्च को टैक्स खर्च के तौर पर दिखाती हैं. ये प्रावधान केवल बिजनेस इनकम पर लागू है.
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