भारत ने फिर की बांग्लादेश की मदद, जरूरत पड़ी तो भेज दिया लाखों टन चावल
India exports rice to Bangladesh: भारत से बांग्लादेश में दो लाख टन चावल का निर्यात किया जाएगा और इसके तहत 27,000 टन की पहली खेप पहुंच चुकी है.
India Rice Exports To Bangladesh: बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद शेख हसीना ने बीते 5 अगस्त को अपना देश छोड़कर भारत में शरण ली. इसके बाद से बांग्लादेश में राजनीतिक उथल-पुथल का दौर जारी है. इस बीच बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार, मंदिरों को तोड़े जाने व आगजनी की कई खबरें सामने आईं. हालांकि, नफरत की आग में जल रहे बांग्लादेश के लिए एक बार फिर से भारत ने मदद का हाथ बढ़ाया. आर्थिक संकट का सामना कर रहे बांग्लादेश को भारत से 27,000 टन चावल भेजा गया और ये भारत से बांग्लादेश के लिए 2 लाख टन चावल के निर्यात का हिस्सा है.
यहां की अंतरिम सरकार ने भारत से चावल आयात करना शुरू कर दिया है. बांग्लादेश के एक खाद्य अधिकारी ने जानकारी दी कि चावल की यह पहली खेप चटगांव बंदरगाह के जरिए बांग्लादेश पहुंच गई है. यह भारत से 200,000 टन चावल खरीदने को लेकर हुए करार का हिस्सा है.
समाचार एजेंसी एएनआई से फोन पर हुई बातचीत में अधिकारी ने कहा, बांग्लादेश में हाल फिलहाल में तो चावल की कोई कमी नहीं है, लेकिन हाल में आई भीषण बाढ़ के संकट को देखते हुए सरकार ने भविष्य में आपातकाल की संभावित स्थिति से निपटने के लिए चावल आयात कराने का फैसला लिया है.
शून्य आयात शुल्क पर भेजा जा रहा चावल
उन्होंने आगे कहा, बांग्लादेश की अंतिरम सरकार 200,000 टन भुने हुए चावल के आयात के साथ टेंडर के जरिए 100,000 टन चावल का भी आयात करेगी. उन्होंने बताया कि सरकार की योजना भारत से और भी अधिक चावल मंगाने की है. इधर देश में चावल की कीमत में स्थिरता लाने के लिए इसके इंपोर्ट पर से सभी टैक्स भी वापस ले लिए गए हैं. यानी कि भारत से शून्य आयात शुल्क पर बांग्लादेश चावल मंगा रहा है.
बांग्लादेश में भारत के उच्चायुक्त प्रणय कुमार वर्मा ने इस पर कहा, भारत पहले ही बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के साथ काम करने की इच्छा जता चुकी है. उन्होंने कहा, बांग्लादेश में 5 अगस्त के उथल-पुथल भरे बदलावों के बाद भी मुझे लगता है कि हमने बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के साथ पूरी ईमानदारी से बातचीत की है.
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