India GDP: वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट की भविष्यवाणी, 10 ट्रिलियन डॉलर वाली अर्थव्यवस्था बनेगा भारत
Indian Economy: वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट बोर्गे ब्रेंडे ने (Borge Brende) ने कहा है कि भारत 10 ट्रिलियन इकोनॉमी बनने की राह पर चल रहा है.
India GDP Update: भारत में तेज गति से हो रहे आर्थिक विकास का पूरी दुनिया लोहा मान रही है. बुधवार को जेफ्फरीज ने 2027 तक भारत के दुनिया की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था होने की भविष्यवाणी की है. अब वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट बोर्गे ब्रेंडे (Borge Brende ) ने कहा है कि भारत 10 ट्रिलियन इकोनॉमी बनने की राह पर जा रहा है.
10 ट्रिलियन डॉलर वाली होगी भारतीय अर्थव्यवस्था
पीटीआई को दिए इंटरव्यू में वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट ने कहा कि भारत 10 बिलियन डॉलर इकोनॉमी बनने की राह पर चल रहा है और वो जल्द ही दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा. बोर्गे ब्रेंडे ने कहा, दुनिया की सभी बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में भारतीय अर्थव्यवस्था सबसे तेजी से आगे बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि हमने इस डावोस में हुए वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम की बैठक के दौरान भारत को लेकर काफी दिलचस्पी देखी है और मुझे लगता है कि ये आगे भी जारी रहेगा.
उम्मीदों से भरा देश है भारत
वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट ने कहा, जब भी आप भारत आते हैं, तो आप उम्मीद से भरा महसूस करते हैं ऐसा दुनिया में हर जगह महसूस नहीं होता है. उन्होंने कहा कि मौजूदा दौर में हम एक भू-राजनीतिक मंदी, बहुत ही खंडित और ध्रुवों में बंट चुकी दुनिया का सामना कर रहे हैं, लेकिन अब भी ऐसे क्षेत्र हैं जहां हम सहयोग कर सकते हैं और उन क्षेत्रों का पता लगाना महत्वपूर्ण है.
अमेरिका - चीन से बेहतर स्थिति में है भारत
वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के प्रेसीडेंट ने कहा कि, भारत 7 फीसदी के दर आर्थिक विकास कर रहा है और दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था अमेरिका भी बेहतर प्रदर्शन कर रहा है. भारत के अगले दो से तीन वर्षों में तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के लक्ष्य पर बोर्गे ब्रेंडे ने कहा कि भारत आने वाले वर्षों में 10 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने की राह पर है. उन्होंने कहा, भारत महत्वपूर्ण सुधारों से गुजरा है. और ये दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं अमेरिका और चीन की तुलना में अच्छी स्थिति में है. भारत में विदेशी निवेश में लगातार इजाफा देखा जा रहा है, मैन्युफैक्चरिंग एक्टिविटी बढ़ रही है जो पहले दूसरे देशों में देखने को मिलता था.
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