अगर आप होली के मौके पर अपने घर जाने वाले हैं और इसके लिए ऐसी कोच में रिजर्वेशन कराया है तो यह खबर आपके काम की है. अपने साथ कंबल तकिया और चादर लेना बिल्कुल न भूलें. वरना बाद में आपको बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है. लेकिन, आपके दिमाग में यह बात आएगी कि रेलवे ने तो ऐसी कोच में बेडरोल देने की घोषणा कर दी है तो बेडरोल ले जाने की क्या जरूरत है. लेकिन, रेलवे के आदेश के बाद भी कई ट्रेनों के एसी कोच में बेडरोल की सुविधा नहीं मिल पा रही है.
बेडरोल की सुविधा को इस कारण किया गया था बंद
रेलवे एसी कोच में ट्रैवल करने वाले यात्रियों को बेडरोल की सुविधा देता है जिससे वह रात में अपने बर्थ पर बिछाकर और तकिया लगाकर सो सकें. लेकिन, कोरोना महामारी शुरू होने के बाद संक्रमण को रोकने के लिए रेलवे ने यात्रियों को बेडरोल देने की सुविधा को बंद कर दिया था. इसके साथ ही ट्रेन में लगने वाले पर्दों को भी हटा दिया गया था.
बेडरोल की सुविधा न मिलने का कारण
रेलवे बेडरोल की सुविधा को ट्रेन में देने के लिए प्राइवेट कंपनियों को टेंडर जारी करता है. लेकिन कोरोना महामारी के बाद से रेलवे ने पहले के दिए सभी टेंडर को कैंसिल कर दिया था. इसके बाद से साल 2020 और 2021 में यह सुविधा पूरी तरह से बंद रही. अब साल 2022 में इस सुविधा को शुरू किया गया है. ऐसे में अब रेलवे को कंपनियों के टेंडर जारी करना है. इस काम को तेजी से किया जा रहा है लेकिन, अभी तक इस प्रक्रिया को पूरा नहीं किया गया है. ऐसे में यात्रियों को फिलहाल बेडरोल की सुविधा नहीं मिल रही है.
रेलवे स्टेशन पर खरीद सकते हैं डिस्पोजेबल बेडरोल
यात्रियों की सुविधा के लिए रेलवे ने डिस्पोजेबल पेड बेडरोल की सुविधा शुरू की है. यात्री अगर घर से चादर, तकिया और कंबल लाना भूल जाते हैं वह डिस्पोजेबल बेडरोल रेलवे स्टेशन से खरीद सकते हैं. इसके लिए आपको 150 प्रति बेडरोल खर्च करने होंगे. डिस्पोजेबल पेड बेडरोल के साथ आपको टूथपेस्ट और मास्क भी मिलेगा.
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