Investment Tips: क्या FD में निवेश का है ये सही समय या ब्याज दरों के बढ़ने का करना चाहिए इंतजार? जानें यहां
Fixed Deposit: अगर आप एफडी स्कीम में निवेश का प्लान बना रहे हैं मगर इसकी इसकी बढ़ती ब्याज दरों को लेकर कन्फ्यूज हैं तो हम आपको बता रहे हैं कि एफडी में निवेश का अभी सही समय है या नहीं.
Tips For Fixed Deposit Investment: रेपो रेट में लगातार बढ़ोतरी के कारण एफडी रेट्स में भी इजाफा हो रहा है. इस कारण पिछले साल सामान्य ग्राहकों को जहां एक साल की एफडी पर 4 से 5 फीसदी तक ब्याज मिल रहा था, वह अब बढ़कर 6 से 7 फीसदी तक पहुंच गया है. ऐसे में ज्यादातर लोगों को यह शिकायत है कि वह जब भी बैंक में एफडी बनवाते हैं इसके कुछ दिन बाद ही बैंक उस अवधि पर ब्याज दरों को और बढ़ा दे रहे हैं. इस कारण उन्हें नुकसान होता है. ऐसे में निवेशकों के मन में यह सवाल उठ रहा है कि क्या यह एफडी में निवेश करने का सही समय है या उन्हें इसके लिए थोड़ा इंतजार करना चाहिए. आइए जानते हैं इस बारे में.
क्या इंतजार करना होगा सही?
एक्सपर्ट्स के मुताबिक जनवरी में खुदरा महंगाई दर (Retail Inflation Rate) एक बार फिर ऊपर चढ़कर 6.52 फीसदी पर जा पहुंची है. ऐसे में यह बेहद कम उम्मीद है कि आरबीआई अपने रेपो रेट में किसी तरह की कमी करेगा. इसके बढ़त की उम्मीद जरूर जताई जा सकती है. अगर रेपो रेट बढ़ता है तो एफडी ब्याज दर भी बढ़ेगी. मगर आप केवल इस कारण अपने निवेश को रोक रहे हैं कि आगे आने वाले दिनों में आपको एफडी पर अच्छा रिटर्न मिलेगा तो यह सही फैसला नहीं हैं. केवल अच्छे रिटर्न के इंतजार में अपने निवेश को बिल्कुल न रोके.
थोड़ा-थोड़ा करके करें एफडी में निवेश-
अगर ग्राहक हर हाल में बढ़ती ब्याज दरों का फायदा उठाना चाहते आप स्मार्ट तरीके से निवेश कर सकते हैं. आप एकमुश्त राशि निवेश करने के बजाय थोड़ा-थोड़ा करके निवेश करें. इससे आगे 2 से 3 महीने में बढ़ने वाली ब्याज दर का भी आप पूरा फायदा उठा पाएंगे. उदाहरण के तौर पर एक साथ 2 लाख की एफडी बनाने के बजाय 1-1 लाख की दो एफडी बनवाए.
ऑटो रिन्युअल के ऑप्शन से बचें-
अगर आप बढ़ती ब्याज दरों का फायदा उठाना चाहते हैं तो एफडी के ऑटो रिन्युअल का ऑप्शन को चुनने से बचें. ऑटो रिन्युअल का मतलब है कि जब आपकी एफडी मैच्योर हो जाएगी तो वह दोबारा उसी अवधि और ब्याज दर पर फिक्स हो जाएगी. इससे आपको बढ़ी हुई ब्याज दर का फायदा नहीं मिलेगा. ऐसे में इस तरह के ऑप्शन को चुनने से बचे और नई दरों पर एफडी कराएं. इसके साथ ही यह भी चेक करें कि कौन सा बैंक आपको ज्यादा रिटर्न दे रहा है. जिस बैंक में आपको अच्छा रिटर्न मिल रहा है केवल उसी को चुनें.
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