मल्टीनेशनल प्रोफेशनल सर्विस देने वाली कंपनी अर्न्स्ट एंड यंग की एक युवा कर्मचारी की मौत के बाद वर्क-लाइफ बैलेंस पर बहस छिड़ गई है. बताया जा रहा है कि ईवाई की कर्मचारी की मौत का कारण काम का प्रेशर था. उसके बाद नौकरी और काम करने की संस्कृति पर लोग बहस कर रहे हैं.


इस टैलेंट प्लेटफॉर्म ने की स्टडी


इस बीच एक स्टडी में खुलासा हुआ है कि नई पीढ़ी के लोग (जेन जी) काम के मामले में सैलरी से ज्यादा सुकून को तरजीह दे रहे हैं. जेन जी के युवाओं की प्राथमिकता में मोटी सैलरी से पहले वर्क-लाइफ बैलेंस और जॉब सटिस्फैक्शन आता है. यह स्टडी टैलेंट प्लेटफॉर्म अनस्टॉप के द्वारा की गई है.


सैलरी से ज्यादा पसंद है ये चीज


स्टडी में जेन जी कैटेगरी के 5 हजार से ज्यादा कर्मचारियों को शामिल किया गया है. उसके अलावा 500 एचआर प्रोफेशनल्स को भी स्टडी में शामिल किया गया. जेन जी के सर्वे में शामिल कर्मचारियों में से 72 फीसदी का मानना है कि वे सैलरी से ऊपर जॉब की संतुष्टि को प्राथमिकता देते हैं. वहीं 77 फीसदी लोगों ने कहा कि वे ऐसी कंपनी में काम करना पसंद करेंगे, जहां मोटी सैलरी के बजाय ग्रोथ व डेवलपमेंट के मौके मिल रहे हों.


पुरानी पीढ़ी से अलग हैं प्राथमिकताएं


जेन जी की ये प्राथमिकताएं पुरानी पीढ़ियों से अलग हैं. पुरानी पीढ़ियों के लिए एक ही कंपनी में लंबे समय तक काम करते रहने और नौकरी बदलने के लिए अधिक सैलरी जैसे फैक्टर महत्वपूर्ण हुआ करते थे. पुरानी पीढ़ियों के कामगारों के लिए काम के तय घंटों से ज्यादा देर तक ऑफिस में रहना भी आम बात लगती है. नई पीढ़ी इनसे अलग प्राथमिकताएं देखती है.


बेहतर मौके की तलाश में आधे प्रोफेशनल्स


जेन जी के लगभग आधे प्रोफेशनल्स अगले 2 साल में नौकरी बदलने के मौके देख रहे हैं. करीब 47 फीसदी प्रोफेशनल्स ने बताया कि वे अधिक अर्थपूर्ण वर्क की तलाश में हैं और अवसर मिलते ही नौकरी बदल लेंगे. वे बेहतर वर्क-लाइफ बैलेंस के लिए भी नौकरी बदलने के मौकों की ताक में हैं. स्टडी में सिर्फ 25 फीसदी लोगों ने माना कि वे सैलरी के लिए नौकरी बदलना चाहते हैं.


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