Jobs in India: इस राज्य ने बनाया 3.5 लाख नौकरियां देने का प्लान, विदेशी कंपनियों को लुभाने के लिए देगा विशेष छूट
Global Outsourcing: ग्लोबल आउटसोर्सिंग को बढ़ावा देने के लिए फोर्ब्स 2000 कंपनियों को विशेष छूट दी जाएगी. राज्य में ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर की संख्या भी दोगुनी करने का प्लान है.
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Global Outsourcing: देश की तेजी से बढ़ती इकोनॉमी के साथ कदमताल करने के लिए राज्यों में भी अपने-अपने स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं. भारत ने जहां अपने सामने 5 ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी बनने का लक्ष्य रखा हुआ है वहीं, गुजरात और उत्तर प्रदेश जैसे राज्य भी एक ट्रिलियन डॉलर की इकोनॉमी के लिए प्रयास कर रहे हैं. इसी कड़ी में कर्नाटक ने भी विदेशी कंपनियों को लुभाने के लिए नया प्लान बनाया है. इसके तहत राज्य विदेशी कंपनियों की कई तरह की छूट देगा और उसे उम्मीद है कि प्रदेश में करीब 3.5 लाख नौकरियां भी पैदा होंगी.
ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर की संख्या दोगुनी करके 1000 करने का लक्ष्य
कर्नाटक सरकार ने ग्लोबल आउटसोर्सिंग को बढ़ावा देने के लिए रेंटल कॉस्ट का रीएम्बरस्मेंट, पेटेंट फीस में सहयोग और कई तरह की टैक्स छूट देने का प्लान बनाया है. उसकी योजना है कि राज्य में 2029 तक ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर (GCC) की संख्या दोगुनी करके 1000 तक पहुंचाई जाए. इससे लाखों की संख्या में नौकरियां भी पैदा होंगी. इस संबंध में ड्राफ्ट पॉलिसी शुक्रवार को लॉन्च की गई. सरकार को उम्मीद है कि इन नए सेंटर से उसे करीब 50 अरब डॉलर की कमाई होगी.
फोर्ब्स 2000 कंपनियों को कर्नाटक लाने की है तैयारी
राज्य सरकार के उप मुख्यमंत्री डीके शिवकुमार (DK Shivakumar) ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि हम फोर्ब्स 2000 कंपनियों में से करीब 15 फीसदी को कर्नाटक लाना चाहते हैं. हम सभी सेक्टर में करीब 10 लाख जॉब साल 2030 तक पैदा करेंगे. इस स्कीम से कर्नाटक ग्लोबल टेक हब के रूप में अपनी जगह और मजबूत कर लेगा. ये जीसीसी अपनी कंपनियों को फाइनेंस और रिसर्च एवं डेवलपमेंट में मदद करेंगे. फिलहाल देश में करीब 1700 जीसीसी हैं. इनके जरिए करीब 19 लाख लोगों को नौकरियां मिली हुई हैं.
GCC के कर्मचारियों की संख्या हो जाएगी 28 लाख
आईटी इंडस्ट्री (IT Industry) की संस्था नैसकॉम (Nasscom) की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, देश में GCC की संख्या 2030 तक करीब 2200 हो सकती है. इनके जरिए करीब 28 लाख लोगों को नौकरियां भी दी जाएंगी. भारत में जीसीसी को बेंगलुरु बहुत पसंद आता है. यही वजह है कि देश के करीब एक तिहाई जीसीसी इसी मेट्रो सिटी में हैं. राज्य सरकार प्रयास करेगी कि ये GCC बेंगलुरु के साथ ही मंगलुरु, मैसूर और तुमकुरु में भी खुलें.
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