नई दिल्ली: अगर किसी बैंक में आपका बचत खाता है तो आपको उसमें मिनिमम एवरेज बैलंस (न्यूनतम राशि) मेनटेन करनी पड़ती है. ऐसा ना करने पर बैंक आप पर जुर्माना भी लगाते हैं. मिनिमम बैलेंस लिमिट के हिसाब से जुर्माना अलग अलग होता है और वो आपके बैंक खाते के प्रकार पर भी निर्भर करता है. हम बात कर रहे हैं देश के तीन अग्रणी बैंक भारतीय स्टेट बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा और सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के बारे में.. तो आइए जानते हैं कि क्या है इनमें मिनिमम एवरेज बैलंस का नियम और कितना मिलता है ब्याज....


भारतीय स्टेट बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा और अन्य अग्रणी बैंकों ने ग्राहक खाते के अनुसार उनका मासिक न्यूनतम औसत राशि सीमा को निर्धारित किया हुआ है. इसका मतलब ये है कि आपको अपने खाते में उतनी राशि रखनी ही पड़ेगी.


बात करें भारतीय स्टेट बैंक की तो एसबीआई ने अब खाते में मिनिमम अकाउंट बैलेंस रखने की जरूरी सीमा को घटा दिया है. इसके तहत महानगरों और बड़े शहरों में मिनिमम अकाउंट बैलेंस की सीमा 3 हजार रुपये कर दी गई है पहले यह सीमा 5 हजार रुपये की थी. अगर अकाउंट होल्डर इतनी राशि अपने खाते में नहीं रखते हैं तो फाइन वसूला जाएगा. ये नए नियम 1 अक्टूबर से लागू हो गए हैं.


भारतीय स्टेट बैंक के नियम


कितना लगता है जुर्माना


मौजूदा समय में भारतीय स्टेट बैंक की मेट्रो और मेट्रो सिटी की शाखाओं में न्यूनतम राशि नहीं रखने पर जीएसटी के अलावा 10 से 15 रुपए का जुर्माना लगता है. सेमी-अर्बन सिटी में ये 7.50 से लेकर 12 रुपए के बीच होता है, जबकि ग्रामीण शाखाओं में ये जुर्माना 5 से 10 रुपया प्लस जीएसटी होता है. जुर्माना की राशि उस राशि पर तय की जाती है जो खाते की न्यूनतम राशि को पूरा करने में कम होती है.


महानगरों के लिए


फाइन की वसूली तीन तरह से की जाएगी. महानगरों में अगर किसी व्यक्ति के खाते में न्यूनतम अकाउंट बैलेंस से 50 फीसदी तक कम राशि है तो जीएसटी के साथ 10 रुपये का जुर्माना लिया जाएगा. खाते में मिनिमम बैलेंस से 50 से 75 फीसदी के बीच में राशि की कमी है तो जीएसटी के साथ 12 रुपए का जुर्माना लगेगा. वहीं, मिनिमम बैलेंस की तुलना में अगर खाते में 75 फीसदी से कम राशि है तो जीएसटी के साथ 15 रुपए का जुर्माना लगाया जाएगा.


सेमी-अर्बन सिटी के लिए


सेमी-अर्बन सिटी में एसबीआई बैंक अकाउंट है तो खाते में कम से कम 2 हजार की राशि रखनी होगी. इससे कम राशि खाते में रखने पर जुर्माना लगाया जाएगा. जुर्माने की रकम तीन तरीके से ली जाएगी. अगर खाते में न्यूनतम बैंक बैलेंस से 50 फीसदी तक कम राशि है तो जीएसटी के साथ 7.5 रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा. न्यूनतम राशि में अगर 50-75 फीसदी की कमी है तो जीएसटी के साथ 10 रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा. वहीं, खाते में अगर मिनिमम बैंक बैलेंस की तुलना में 75 फीसदी से कम राशि है तो जीएसटी के साथ 12 रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा.


ग्रामीण क्षेत्रों के लिए


ग्रामीण क्षेत्रों में एसबीआई बैंक अकाउंट में कम से कम एक हजार रुपये रखने होंगे. अगर कोई खाता धारक इतनी रकम अपने खाते में नहीं रखते हैं तो उनसे जुर्माना वसूला जाएगा. खाते में न्यूनतम राशि में अगर 50 फीसदी तक की कमी है तो जीएसटी के साथ 5 रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा. न्यूनतम राशि की तुलना में मिनिमम बैंक बैलेंस 50-75 फीसदी कम रहने पर जीएसटी के साथ 7.5 रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा.


इन अकाउंट पर मिनिमम बैंक बैलेंस का नियम नहीं होगा लागू


सेविंग बैंक अकाउंट में मिनिमम बैलेंस नहीं रखने पर जहां जुर्माना लिया जाता है वहीं, सैलरी अकाउंट, बेसिक सेविंग डिपॉजिट अकाउंट और जनधन खाते पर मिनिमम राशि रखने की कोई बाध्यता नहीं है.


एटीएम ट्रांजैक्शन के लिए ये हैं नियम


एसबीआई ने एटीएम से पैसे निकालने के नियम में बदलाव किया है. अब महानगरों में लोग एसबीआई एटीएम से 10 बार फ्री में ट्रांजैक्शन कर सकेंगे. अभी ये नियम सिर्फ 6 ट्रांजैक्शन का है. वहीं अन्य जगहों पर अधिकतम 12 बार फ्री ट्रांजैक्शन किया जा सकेगा. बता दें कि सैलरी बैंक अकाउंट से फ्री एटीएम ट्रांजैक्शन की कोई सीमा नहीं है.


SBI में कितना मिलता है ब्याज


भारतीय स्टेट बैंक मौजूदा समय में दो तरह का ब्याज अपने ग्राहकों को देता है. 1 लाख तक की राशि पर 3 फीसदी और 1 लाख रुपए से अधिक की राशि पर 3.50 फीसदी ब्याज मिलता है. ऐसे में आप इस बैंक में अपना अकाउंट खोलकर लाभ कमा सकते हैं.


बैंक ऑफ बड़ौदा के नियम


बैंक ऑफ बड़ौदा ,बेंगलुरू स्थित विजया बैंक और मुंबई स्थित देना बैंक के साथ अपने गठजोड़ के बाद SBI के बाद दूसरा सबसे बड़ा सार्वजनिक क्षेत्र का बैंक बन गया है. बैंक ऑफ बड़ौदा ने अपने सेविंग अकाउंट में मिनिमम बैलेंस लमिट को बढ़ा दिया है. जिसके मुताबिक अकाउंट होल्डर्स को मेट्रो सिटीज में क्वाटर्ली बैलेंस 2,000 और सेमी-अर्बन सिटी शाखाओं में 1,000 रुपए की राशि रखनी होगी.


बैंक ऑफ बड़ौदा में कितना मिलता है ब्याज
बैंक ऑफ बड़ौदा भी मौजूदा समय में दो तरह का ब्याज अपने ग्राहकों को देता है. 50 लाख तक की राशि पर 3.50 फीसदी और 50 लाख रुपए से अधिक की राशि पर 4.00 फीसदी ब्याज मिलता है.


सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया
किफायती स्कीम की बात करें तो आप सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया का रुख कर सकते हैं. सेन्ट्रल बैंक ऑफ इंडिया ने “सेन्ट बचत खाता” नाम से नो-फ्रिल सेविंग अकाउंट शुरू किया है. इसमें 50 रुपए की न्यूनतम राशि से सेविंग अकाउंट खोला जा सकता है. इसमें न्यूनतम अकाउंट बैलेंस मेनटेन नहीं कर पाने पर भी किसी तरह का कोई जुर्माना नहीं वसूला जाता. इसकी मिनिमम बैलेंस लिमिट भी 50 रुपए ही है.


बैंक की किसी भी शाखा में अकाउंट खोला जा सकता है और सेविंग्स पर 3.5% दर से ब्याज मिलता है. इसके साथ ही इसमें हर साल 50 विथड्राल फ्री होते हैं.


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