एलआईसी का आईपीओः LIC के आईपीओ के लिए हलचल तेज हो चुकी है, 13 फरवरी को देश की ये सबसे बड़ी सरकारी इंश्योरेंस कंपनी सेबी के पास अपना DRHP फाइल कर चुकी है. माना जा रहा है कि एलआईसी का आईपीओ 10 मार्च को आ सकता है. इसके साथ ही रिटेल निवेशकों के मन में लाइफ इंश्योरेंस कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के आईपीओ को लेकर उत्सुकता और बढ़ चुकी है.
एलआईसी के आईपीओ को लेकर यहां आपको कुछ खास बातें बताई जा रही हैं और इनके जरिए आपको अपने कई सवालों के जवाब मिल जाएंगे.
1. एलआईसी के आईपीओ में एलआईसी पॉलिसी होल्डर्स के लिए 10 फीसदी शेयर रिजर्व रखे जाएंगे लेकिन ये बात ध्यान रखने वाली है कि पॉलिसी होल्डर हो या रिटेल निवेशक हों, उनके पास डीमैट खाता होना जरूरी है. ऐसा इसलिए क्योंकि किसी भी कंपनी के इक्विटी शेयर सिर्फ डीमैट के रूप में जारी होते हैं.
2. किसी और इंश्योरेंस पॉलिसी वाले निवेशकों को आम रिटेल निवेशकों की ही तरह एलआईसी आईपीओ में आवेदन करना होगा. आईपीओ में शेयर मिलने के बाद रिटेल निवेशकों के लिए कोई लॉक-इन पीरीयड नहीं होता है. लिस्टिंग के तुरंत बाद भी शेयर बेचे जा सकते हैं.
3. रिटेल निवेशकों के तहत आप आईपीओ में सिर्फ 2 लाख रुपये तक के ही शेयर खरीद पाएंगे. आईपीओ के आने के समय पता लग पाएगा कि कम से कम कितने शेयर खरीद पाएंगे.
4. एलआईसी के इक्विटी शेयर्स में इंवेस्टमेंट पर कोई टैक्स छूट नही मिल पाएगी और मुनाफे पर टैक्स लगेगा.
5. पॉलिसी होल्डर्स आईपीओ के प्राइस बैंड में ऊपरी भाव पर बोली लगाएं तो बेहतर होगा क्योंकि इसी भाव को शेयर अलॉटमेंट के समय फाइनल किया जाता है.
6. पॉलिसी होल्डर्स जॉइंट पॉलिसी वाले हैं तो दो में से एक ही अप्लाई कर सकते हैं. दो में से जो भी आईपीओ शेयर्स के लिए अप्लाई कर रहा है उसका पैन नंबर पॉलिसी रिकॉर्ड में अपडेट होना चाहिए और उसके खुद के नाम पर डीमैट खाता होना चाहिए. अगर डीमैट खाता भी संयुक्त है तो अप्लाई करने वाले को डीमैट अकाउंट का प्राइमरी होल्डर होना चाहिए.
7. लैप्स पॉलिसी वाले भी पॉलिसी होल्डर्स रिजर्वेशन के तहत अप्लाई कर सकते हैं. इसका अर्थ है कि जो भी पॉलिसी एलआईसी के रिकॉर्ड से बाहर नहीं हो चुकी है, वो सभी पॉलिसी होल्डर्स रिजर्वेशन हिस्से के तहत अप्लाई कर सकते हैं.
8. पैन को पॉलिसी से लिंक करने के लिए एलआईसी की वेबसाइट पर मौजूद ऑप्शंस को देखें और अपने पैन नंबर, पॉलिसी नंबर, मोबाइल नंबर और ईमेल नंबर के जरिए सरल प्रोसेस करें और इसे लिंक कर लें. इसके अलावा एलआईसी ऑफिस जाकर भी आप पैन नंबर को अपडेट कर सकते हैं.
9. एनआरआई पॉलिसी होल्डर्स भारत से बाहर रहने वाले पॉलिसी होल्डर्स इसके आईपीओ में अप्लाई नहीं कर सकते हैं.
10. आईपीओ के बाद शेयरों का अलॉटमेंट समय आने पर सभी बीमाधारकों को एक समान रूप से देखा जाएगा. इसमें प्रीमियम की रकम या बीमा पॉलिसी की संख्या से कोई अंतर नहीं पड़ेगा.
11. सीनियर सिटीजंस भी इसमें अप्लाई कर सकते हैं. 18 साल से ऊपर का कोई भी नागरिक आईपीओ में शेयरों के लिए आवेदन कर सकता है.
12. एलआईसी पॉलिसी के नॉमिनी इसमें अप्लाई करने के लिए एलिजिबल नहीं हैं. सिर्फ पॉलिसी होल्डर्स को ही पॉलिसी होल्डर्स रिजर्वेशन के तहत फायदा मिलेगा.
13. पॉलिसी होल्डर्स रिजर्वेशन के तहत आवेदन पर शेयर अलॉटमेंट की कोई गारंटी नहीं है. केवल 10 फीसदी हिस्सा ही पात्र पॉलिसी होल्डर्स के लिए सेव है.
14. सेबी के रूल्स के मुताबिक डीमैट खाते के दोनों लाभार्थियों द्वारा अलग-अलग एप्लीकेशन नहीं डाली जा सकती हैं. केवल प्राइमरी बेनेफिशयरी के नाम से ही अप्लाई किया जा सकता है.
15. DRHP की तारीख से पहले अप्लाई किया लेकिन पॉलिसी बॉन्ड इससे पहले नहीं आया तो आप पॉलिसी होल्डर्स रिजर्वेशन के तहत अप्लाई नहीं कर सकते हैं.
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